Edited By Shivam, Updated: 14 Jun, 2019 06:42 PM
सोहना नगर पालिका की पूर्व चेयरपर्सन व दो अधिकारियों के खिलाफ जालसाजी जैसी विभिन्न अपराधिक धाराओं के तहत दर्ज मामले में अदालत ने पूर्व चेयरपर्सन की अग्रिम जमानत के लिए लगाई गई अर्जी को खारिज कर दिया है। पूर्व चेयरपर्सन पर अपने पद का दुरुपयोग कर...
गुरूग्राम (सतीश): सोहना नगर पालिका की पूर्व चेयरपर्सन व दो अधिकारियों के खिलाफ जालसाजी जैसी विभिन्न अपराधिक धाराओं के तहत दर्ज मामले में अदालत ने पूर्व चेयरपर्सन की अग्रिम जमानत के लिए लगाई गई अर्जी को खारिज कर दिया है। पूर्व चेयरपर्सन पर अपने पद का दुरुपयोग कर सरकारी धन को हड़पने के आरोप के साथ कई अन्य तरह के गंभीर आरोप लगे हुए हैं।
दरअसल, कांग्रेस सरकार में सोहना नगरपालिका में चेयरपर्सन के पद पर नियुक्त रोशनी देवी के कार्यकाल में सरकारी धन का दुरुपयोग किया जा रहा था, अवैध कब्जे किए जा रहे थे। इसी दौरान पालिका के वॉइस चेयरमैन ने चेयरपर्सन के खिलाफ विपक्षी पार्षदों के साथ मिलकर उच्च अधिकारियों को शिकायत भी भेजी थी।
इस बारे में जानकारी देते हुए पालिका के पूर्व चेयरमैन वृजभूषण गोयल ने बताया कि तत्कालीन मुख्यमंत्री के साथ सांठ-गांठ ठीक होने के कारण सरकार ने मामले में कोई संज्ञान लेना उचित नहीं समझा और मामले की जांच मुख्यमंत्री उडऩदस्ते को सौंप दी गई। साल 2012 से चली आ रही जांच में उडऩदस्ते की टीम ने एक सप्ताह पहले ये मुकदमा दर्ज कराया है।
गौरतलब है कि नगरपालिका की पूर्व चैयरपर्सन द्वारा पालिका के अधिकारियों के साथ मिलीभगत कर अवैध कॉलोनियों में सरकारी धन से रास्ते व बिना नक्शा पास कराए इमारत बनवा दी गई थी। खेल स्टेडियम में टेम्परेरी हेलीपैड बनाया गया था, जिसकी लागत से ज्यादा खर्चा जोड़ कर सरकारी धन का दुरूपयोग किया गया था।
इसी तरह कई पालिका की जमीन पर अवैध कब्जा जमा कर सरकारी सम्प्पति व धन का दुरुपयोग किया था। हालांकि इस संबंध में मामला तो दर्ज कर लिया गया है, लेकिन अभी तक पूर्व चेयरपर्सन रोशनी देवी की गिरफ्तारी नहीं हो सकी है।