Edited By Isha, Updated: 09 Sep, 2020 04:17 PM
कश्मीर बारमूला में पाकिस्तान की ना-पाक हरकत की वजह से शहीद हुए भूपेंदर सिंह का पार्थिव शरीर आज उनके पैतृक गांव बास रानिला पंहुचा। शहीद भूपेन्द्र दिसंबर 2015 में सेना में भर्ती हुए थे। 5 सितंबर से शहीद का परिवार और ग्रामवासी पार्थिव शरीर का इंतजा
चरखी दादरी(नरेन्द्र): कश्मीर बारमूला में पाकिस्तान की ना-पाक हरकत की वजह से शहीद हुए भूपेंदर सिंह का पार्थिव शरीर आज उनके पैतृक गांव बास रानिला पंहुचा ।शहीद भूपेन्द्र दिसंबर 2015 में सेना में भर्ती हुए थे। 5 सितंबर से शहीद का परिवार और ग्रामवासी पार्थिव शरीर का इंतजार कर रहा था। आखिरकार आज उनका शव उनके पैतृक गांव आया। गांव में राजकीय सम्मान के साथ उनका अंतिम संस्कार किया गया। लगभग 9 माह के उनके बेटे ने अपने शहीद पिता को मुखाग्नि दी।
आपको बता दे कि चरखी दादरी जिले के गांव बास (अचिना) के 24 वर्षीय जवान भुपेन्द्र जम्मू कश्मीर के बारामुला में आतंकियों से मुठभेड़ में शहीद हो गए। भारत माँ की रक्षा में बहादुर बेटे ने अपना सर्वस्व न्यौछावर कर दिया। जम्मू-कश्मीर के कुपवाड़ा में पाकिस्तान ने सीजफायर का उल्लंघन किया। नौगाम सेक्टर में एलओसी के करीब पाकिस्तान द्वारा की गई गोलाबारी में सैनिक भूपेन्द्र शहीद हो गए, जबकि दो अन्य घायल हो गए है। इस बारे में बोलते हुए शहीद के छोटे भाई दीपक ने कहा कि उन्हें बड़ा गर्व है कि उसका भाई देश के लिए शहीद हुआ है और वह भी आर्मी की पहले से ही तैयारी कर रहे थे अब उनका जोश और बढ़ा है वह आर्मी में ही भर्ती होंगे और अपने भाई की शहादत का बदला लेंगे ।
वहीं आर्मी ऑफिसर ने बताया कि हमें भूपेंद्र की शहादत पर बड़ा गर्व है । उन्होंने कहा कि भूपेंद्र एक होनहार और देशभक्त युवा थे, जिनके अंदर देशभक्ति का जज्बा था। गांव में राजकीय सम्मान के साथ उनका अंतिम संस्कार किया गया। शहीद भूपेन्द्र दिसंबर 2015 में सेना में भर्ती हुए थे।