Edited By Naveen Dalal, Updated: 03 Jul, 2019 08:02 PM
इनेलो के प्रदेशाध्यक्ष बीरबल दास ढालिया ने केंद्र सरकार द्वारा घोषित किए गए गेहूं के समर्थन मूल्य 105 रुपए प्रति क्विंटल और धान पर 65 रुपए की वृद्धि की...
चंडीगढ़ (ब्यूरो): इनेलो के प्रदेशाध्यक्ष बीरबल दास ढालिया ने केंद्र सरकार द्वारा घोषित किए गए गेहूं के समर्थन मूल्य 105 रुपए प्रति क्विंटल और धान पर 65 रुपए की वृद्धि की घोषणा को किसानों के प्रति एक भद्धा मजाक बताया है। उन्होंने कहा कि सरकार का यह दावा कि इस बढ़ौतरी के साथ उसने किसानों से किए गए उस वायदे को पूरा कर दिया है जिसके अनुसार फसलों के लागत मूल्य पर उसने उन्हें 50 प्रतिशत का मुनाफा देना था। अब किसानों को 1840 रुपए प्रति क्विंटल के हिसाब से लागत मूल्य दिए जाने के बावजूद यह राशि किसानों के लागत मूल्य से बहुत कम है।
इनेलो प्रदेशाध्यक्ष ने कहा कि गणना के अनुसार प्रदेश में गेहूं का प्रति क्विंटल लागत मूल्य 2050 रुपए प्रति क्विंटल बनता है। इस प्रकार सरकार का यह दावा कि उसने जो किसानों के साथ लागत मूल्य पर 50 प्रतिशत मुनाफा देने का वायदा किया था वह अभी भी लागत मूल्य से बहुत कम है। भाजपा सरकार ने इस प्रकार का दावा कर किसानों का मजाक भी उड़ाया है और उनका अपमान भी किया है।
इनेलो की यह मांग है कि अगले वर्ष बाजार में आने वाली गेहूं का मूल्य स्वामीनाथन आयोग की रिपोर्ट की सिफारिशों के अनुसार निर्धारित करते हुए उसे प्रति क्विंटल 2500 रुपए घोषित किया जाए और हठधर्मिता छोड़ते हुए किसानों को धोखा देने वाले गणित का सहारा छोड़ दे और ईमानदारी से किसानों का लागत मूल्य का हिसाब करते हुए उनकी फसल का न्यूनतम समर्थन मूल्य निर्धारित किया जाए।