Edited By Isha, Updated: 02 Jul, 2024 02:02 PM
हरियाणा में गब्बर के नाम से मशहूर पूर्व गृहमंत्री अनिल विज का इशारों ही इशारों में फिर दर्द छलका है। उन्होंने सोशल मीडिया पर एक पोस्ट में लिखा है कि- “माना की औरों के मुक़ाबले कुछ ज़्यादा पाया नहीं मैंने, पर ख़ुद गिरता-संभलता रहा किसी को गिराया नहीं...
अंबालाः हरियाणा में गब्बर के नाम से मशहूर पूर्व गृहमंत्री अनिल विज का इशारों ही इशारों में फिर दर्द छलका है। उन्होंने सोशल मीडिया पर एक पोस्ट में लिखा है कि- “माना की औरों के मुक़ाबले कुछ ज़्यादा पाया नहीं मैंने, पर ख़ुद गिरता-संभलता रहा किसी को गिराया नहीं मैंने!!”
अइस पोस्ट को हाल ही में पंचकूला में गृहमंत्री अमित शाह की घोषणा से जोड़कर देखा जा रहा है। अमित शाह ने कहा था कि अक्टूबर-नवंबर में होने वाले विधानसभा चुनाव मुख्यमंत्री नायब सैनी की अगुआई में लड़ा जाएगा। इसका मतलब यह भी है कि अगर भाजपा फिर से प्रदेश में जीतती है, तो नायब सैनी ही मुख्यमंत्री होंगे। हालांकि अनिल विज ने सीधे तौर पर इस बारे में कुछ नहीं कहा, लेकिन उनकी पोस्ट से ऐसा लगता है कि उन्हें कुछ नाराजगी है।
बता दें कि 2014 के विधानसभा चुनाव में हरियाणा में भारतीय जनता पार्टी (BJP) ने 90 में से 47 सीटें जीतकर पूर्ण बहुमत हासिल किया था। उस समय अनिल विज को मुख्यमंत्री पद का सबसे मजबूत दावेदार माना जा रहा था, हालांकि, उनके साथ रामबिलास शर्मा और ओमप्रकाश धनखड़ भी सीएम पद की दौड़ में थे।जब ये चर्चा सामने आई कि बीजेपी किसी पंजाबी चेहरे को सीएम बनाएगी, तो अनिल विज और भी प्रबल दावेदार हो गए थे, लेकिन पार्टी ने करनाल विधानसभा सीट से पहली बार विधायक बने मनोहर लाल खट्टर को मुख्यमंत्री बना दिया था।
शपथग्रहण समारोह में भी नहीं पहुंचे थे विज
गौर रहे कि नए मुख्यमंत्री के चयन के लिए हुई बैठक में अनिल विज अचानक बीच में ही बाहर आ गए। यह कहा गया कि जब नायब सैनी का नाम मुख्यमंत्री के रूप में घोषित किया गया, तो विज ने बैठक बीच में ही छोड़ दी। इसके बाद, जब नायब सैनी के मंत्रिमंडल में नाम शामिल होने की बात आई, तो विज ने मंत्री पद लेने से इनकार कर दिया। वे शपथग्रहण समारोह में भी नहीं पहुंचे। हालांकि, विज ने बार-बार यह कहा कि उनकी कोई नाराजगी नहीं है।