Edited By Isha, Updated: 22 Dec, 2023 02:21 PM
तीन राज्यों में हुए चुनावों के अप्रत्याशित परिणामो और चुनावों के बाद मुख्यमंत्री के चेहरे में हुए बदलाव कहीं ना कहीं कर्मचारियों की नाराजगी का एक बड़ा मुख्य कारण रहा है। लेकिन अगर बात हरियाणा प्रदेश कीहो तो मुख्यमं
चंडीगढ़(चंद्र शेखर धरणी): तीन राज्यों में हुए चुनावों के अप्रत्याशित परिणामो और चुनावों के बाद मुख्यमंत्री के चेहरे में हुए बदलाव कहीं ना कहीं कर्मचारियों की नाराजगी का एक बड़ा मुख्य कारण रहा है। लेकिन अगर बात हरियाणा प्रदेश कीहो तो मुख्यमंत्री मनोहर लाल हर एक कदम पर कर्मचारियों का दिल जीतने की नीतियों पर चलते नजर आते हैं। इस बार मुख्यमंत्री ने एक ऐसी नजीर पेश की है जिससे हर कोई दीवाना होता दिखाई दे रहा है। ना चाहते हुए विपक्षी भी मुख्यमंत्री मनोहर लाल की तारीफ के कसीदे कसते नजर आते हैं। हरियाणा के इतिहास में इससे पहले कोई ऐसा मुख्यमंत्री देखने को नहीं मिला जो कर्मचारी से सीधा संवाद करता हो, कर्मचारियों की दिक्कत परेशानी में उनके साथ खड़ा नजर आता रहा हो, कर्मचारियों द्वारा उठाई जाने वाली मांगों को जल्द पूरा करने की कुव्वय- क्षमता और इच्छा शक्ति रखता हो। लेकिन हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने एक बार फिर से यह साबित कर दिया है कि वह कर्मचारियों को अपने परिवार का हिस्सा मानते हैं।
दरअसल मुख्यमंत्री मनोहर लाल के ट्विटर हैंडल पर राजेश कुमार नाम के एक व्यक्ति ने अपील की थी कि माननीय मुख्यमंत्री महोदय कृपया ग्रुप डी डिपार्टमेंट में चेंज करें। वह 250 किलोमीटर से अपने घर जाना चाहते हैं और पुलिस विभाग से छुटकारा पाना चाहते हैं यानी उन्होंने ग्रुप डी ट्रांसफर ड्राइव शुरू करने की मांग की थी। राजेश कुमार ने यह भी लिखा था कि 18218 कर्मचारी डिपार्टमेंट चेंज ट्रांसफर ड्राइव खोलने का बेसब्री से इंतजार कर रहे हैं। कृपया मुख्यमंत्री साहब शीघ्र संज्ञान लें। सीएम के ट्विटर हैंडल पर राजेश कुमार द्वारा उपलब्ध करवाई गई इस जानकारी को लेकर मुख्यमंत्री कितने गंभीर नजर आए उसका उदाहरण इस बात को देखने से मिलता है कि महज एक लाइन में उन्होंने इस बड़ी समस्या का निदान कर डाला। उन्होंने प्रदेश के सभी डी ग्रुप के कर्मचारियों से एक बड़ा तुरंत वायदा कर डाला कि एक सप्ताह से ज्यादा इंतजार नहीं यानी एक बड़ा तोहफा प्रदेश के सभी डी ग्रुप के कर्मचारियों को मुख्यमंत्री द्वारा दिया जाना तय हो चुका है और यह वायदा भारतीय जनता पार्टी के लिए भविष्य में होने वाले चुनावो में एक बड़े लाभ के रूप में सुनिश्चित माना जा सकता है।