त्यौहारी सीजन से पहले मोदी सरकार ने हरियाणा के किसानों को दी बड़ी ‘सौगात’

Edited By Yakeen Kumar, Updated: 04 Sep, 2025 09:53 PM

modi government gave a big  gift  to the farmers of haryana

त्यौहारी सीजन से पहले केंद्र सरकार ने हरियाणा के किसानों को तोहफा दिया है। अब किसानों को कृषि उपकरण सस्ते दाम पर मिलेंगे। टै्रक्टर के टायर्स एवं पुर्जों पर जी.एस.टी. 18 प्रतिशत से कम करके इसे 5 प्रतिशत कर दिया गया है।

चंडीगढ़( संजय अरोड़ा): त्यौहारी सीजन से पहले केंद्र सरकार ने हरियाणा के किसानों को तोहफा दिया है। अब किसानों को कृषि उपकरण सस्ते दाम पर मिलेंगे। टै्रक्टर के टायर्स एवं पुर्जों पर जी.एस.टी. 18 प्रतिशत से कम करके इसे 5 प्रतिशत कर दिया गया है। इसी प्रकार से टै्रक्टर खरीद पर अब किसानों को 12 प्रतिशत की बजाय 5 फीसदी ही जी.एस.टी. देना होगा। ऐसे ही कृषि बागवानी से संबंधित मशीनों पर भी अब जी.एस.टी. 12 प्रतिशत कम करके 5 फीसदी कर दी गई है। ड्रिप सिंचाई प्रणाली के लिए भी पहले किसानों को 12 प्रतिशत जी.एस.टी. देनी पड़ती थी। अब किसानों को केवल 5 फीसदी जी.एस.टी. देनी होगी। केंद्र सरकार के इस कदम से हरियाणा के लाखों किसानों को लाभ मिलेगा। उल्लेखनीय है कि बुधवार को नई दिल्ली में हुई जी.एस.टी. काऊंसिंल की 56वीं बैठक में केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमन के समक्ष किसानों व व्यापारियों सहित कई अन्य वर्गों को राहत देने संबंधी प्रस्ताव रखे थे। खास बात यह है कि कृषि उपकरणों पर जी.एस.टी. की दरें कम होने से हरियाणा के लाखों किसान लाभान्वित होंगे।

गौरतलब है कि पिछले करीब 11 वर्षों में भाजपा सरकार ने हरियाणा में विभिन्न योजनाओं के जरिए किसानों को राहत दी है। हरियाणा देश का इकलौता ऐसा प्रदेश है जहां किसानों की 24 फसलें न्यूनतम समर्थन मूल्य पर खरीदी जा रही हैं। हरियाणा सरकार की ओर से कृषि यांत्रिकीकरण योजना के अंतर्गत किसानों को कृषि यंत्र की खरीद पर 50 से 80 प्रतिशत अनुदान दिया जा रहा है। इससे किसान आधुनिक उपकरणों की खरीद व्यापक पैमाने पर कर रहे हैं और इससे खेती कार्य भी सुगम हो गया है। इसी तरह से सौर ऊर्जा को बढ़ावा देने के मकसद से सरकार की ओर से किसानों को सोलर पंप लगाने पर भी 75 प्रतिशत का अनुदान दिया जा रहा है। इससे किसानों की खेती की लागत कम हुई है तो बिजली की भी बचत होने लगी है। सरकार की ओर से धान की जगह वैकल्पिक फसल लगाने पर भी 7 हजार रुपए प्रति एकड़ प्रोत्साहन राशि दी जाती है तो सफेदा एवं पोपुलर लगाने पर भी 7 हजार रुपए प्रति एकड़ राशि किसानों को दी जा रही है।

बागों से बाग-बाग हो रहा हरियाणा

हरियाणा में सब्जियों और बागवानी को नई तकनीक से जोडऩे और सूक्ष्म ङ्क्षसचाई प्रणाली के जरिए इसे और अधिक सशक्त बनाने के लिए तत्कालीन मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर 2018 में इजराइल में गए थे। इजराइल और हरियाणा का खेती का पैटर्न और मौसम व जमीन की तासीर मिलती-जुलती है। इजरायल से लौटने के बाद मुख्यमंत्री ने हरियाणा में बागवानी की दिशा में और अधिक असरकारक कदम उठाने का संकल्प लिया। इजराइल के साथ मिलकर कृषि क्षेत्र में बढ़ावा देने के लिए योजना तैयार की गई। इजराइल के सहयोग से 30 सैंटर ऑफ एक्सीलैंसी चल रहे है, इनमें से पांच सैंटर हरियाणा में हैं। इजराइल के सहयोग से घरौंडा में भी सैंटर चल रहा है, जो सफल साबित हुआ है। बागवानी के क्षेत्र में सरकार की ओर से उठाए गए प्रभावी कदमों का ही नतीजा है कि हरियाणा में पिछले 11 साल में सब्जियों का रकबा 77 हजार हैक्टेयर बढ़ा है। 2013-14 में सब्जियों का रकबा करीब 3.73 लाख हैक्टेयर था जो 2024-25 में साढ़े 4 लाख हैक्टेयर हो गया है। इसी तरह से फलों के क्षेत्र में भी इजाफा हुआ। 

इन योजनाओं ने बदला किसानों का लाइफस्टाइल

हरियाणा सरकार की ओर से कृषि के क्षेत्र में किए गए क्रांतिकारी बदलाव और करीब एक दर्जन योजनाओं को धरातल पर लागू किए जाने के बाद किसान का लाइफ स्टाइल बदला है। हरियाणा के किसान परिवारों को दिसम्बर 2018 से शुरू ‘‘प्रधानमंत्री किसान स मान निधि योजना‘‘ के तहत प्रत्येक किसान परिवार को 6000 रुपए वार्षिक सहायता उपलब्ध करवाई जा रही है। इस योजना के तहत एक दिसम्बर, 2018 से 10 नवम्बर, 2024 तक हरियाणा के 19.65 लाख किसानों को 13 किश्तों में 4 हजार करोड़ रुपए की राशि प्रदान की गई। इसी तरह से कृषि तथा किसान कल्याण विभाग द्वारा मेरी फसल मेरा ब्योरा पोर्टल संचालित किया जा रहा है ताकि किसानों के भूमि रिकॉर्ड और फसल की खरीद और अन्य सरकारी लाभों के लिए बोई गई फसल का पंजीकरण और सत्यापन किया जा सके। रबी 2020-21 के दौरान मेरी फसल मेरा ब्योरा पोर्टल पर 9,49,817 किसानों ने अपनी फसल पंजीकृत की थी तथा खरीफ  2025 के दौरान मेरी फसल-मेरा ब्योरा पोर्टल पर अब तक 8,10,625 किसानों ने अपनी फसल पंजीकृत की है। इसके साथ ही सरकार की ओर से प्रगतिशील किसानों को प्रोत्साहन देने के लिए भी प्रगतिशील किसान सम्मान योजना शुरू की गई है। इस योजना के तहत तीन गु्रप यानी 10 एकड़ से ऊपर, 5 से 10 एकड़ के बीच और 5 एकड़ से नीचे भूमि पर खेती करने वाले प्रगतिशील किसानों को शामिल किया जाएगा।

किसानों के हितों को लेकर संजीदा है सरकार: नायब सिंह सैनी

मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी का मानना है कि सरकार किसानों के हितों को लेकर पूरी तरह से संजीदा है और निरंतर किसानों के हितों में प्रभावी कदम उठा रही है। नायब ङ्क्षसह सैनी ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा किसानों के हित में निरंतर उठाए जा रहे सकारात्मक कदमों का स्वागत करते हुए उनका आभार भी जताया है। उन्होंने कहा कि कृषि उपकरणों पर जी.एस.टी. की दरों में कमी होने से हरियाणा के लाखों किसान लाभान्वित होंगे। हरियाणा देश का पहला ऐसा राज्य है जहां किसानों की 24 फसलों को समर्थन मूल्य पर खरीदा जा रहा है। प्रधानमंत्री किसान निधि योजना से हरियाणा के साढ़े 19 लाख किसान लाभान्वित हो रहे हैं। यही नहीं किसानों को कृषि यंत्रों पर अनुदान दिया जा रहा है। नायब सिंह सैनी का कहना है कि किसानों की फसल खरीद में आढ़तियों की भूमिका को मद्देनजर रखते हुए सरकार ने आढ़तियों का कमिशन भी 46 रुपए प्रति क्विंटल से बढ़ाकर 55 रुपए कर दिया है। इसके अलावा सरकार किसानों की फसल खरीदकर सीधा उनके खाते में पैसों का भुगतान कर रही है तो किसानों की खराब हुई फसलों का भी उचित मानदेय दिया जा रहा है। नायब सैनी का कहना है कि सरकार किसानों को प्राकृतिक एवं जैविक खेती के प्रति भी प्रोत्साहित कर रही है। नायब सिंह सैनी ने कहा कि हरियाणा में सरकार गन्ने का सबसे अधिक भाव दे रही है तो भावांतर भरपाई योजनाओं के जरिए फलों व सब्जियों की खेती करने वाले किसानों के जोखिम को कम कर रही है।

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