Edited By vinod kumar, Updated: 08 Feb, 2021 02:01 PM

गणतंत्र दिवस पर किसानों की ट्रैक्टर परेड के दौरान जो हुआ, उसकी हर तरफ निंदा हुई है। इस दिन तिरंगे का अपमान हुआ था, जिसके चलते दिल्ली पुलिस ने हिंसा करने के आरोप में कई किसानों को गिरफ्तार किया था, उन्हीं गिरफ्तार किसानों में से एक है नवनीत, जिसका...
जींद (अनिल कुमार): गणतंत्र दिवस पर किसानों की ट्रैक्टर परेड के दौरान जो हुआ, उसकी हर तरफ निंदा हुई है। इस दिन तिरंगे का अपमान हुआ था, जिसके चलते दिल्ली पुलिस ने हिंसा करने के आरोप में कई किसानों को गिरफ्तार किया था, उन्हीं गिरफ्तार किसानों में से एक है नवनीत, जिसका परिवार उसकी गैरमौजूदगी में अकेला पड़ गया है। नवनीत ही घर का मुखिया था, लिहाजा अब उसके जेल चले जाने से घर का खर्च उठाना मुश्किल हो गया है, ना तो नवनीत की जमानत के लिए घरवालों के पास पैसे हैं और ना ही इनकम का कोई और जरिया।
नवनीत को जेल से बाहर लाने के लिए परिवार ने सरकार से मदद की गुहार लगाई है और किसान नेताओं से भी मदद मांगी है। गांव के लोगों ने सारा मसला किसान नेताओं पर छोड़ दिया है, आश्वासन तो बहुत मिल रहे हैं मगर नवनीत कब घर वापस लौटेगा, इसकी किसी को कोई जानकारी नहीं है।
पत्नी सीमा ने कहा कि मेरे पति बेकसूर है उन्होंने कोई तोड़फोड़ नहीं की है। मैं अनपढ़ हूं और हमारे पास इतने पैसे नहीं है कि पति की जमानत के लिए वकील भी कर सकें। मेरे दो छोटे छोटे बच्चे है, अब घर का गुजारा भी मुश्किल है। वहीं छोटे भाई धीरज का कहना कि घर में नवनीत की जमानत के लिए पैसे नहीं हैं। आंदोलन करना हमारा लोकतान्त्रिक अधिकार है, प्रधानमंत्री मोदी से अपील है कि मेरे भाई को जल्द रिहा करे।
बता दें, नवनीत ने 24 जनवरी को ट्रैक्टर रैली के लिए दिल्ली कूच किया था, जिसके बाद दिल्ली में हिंसा हुई, और पुलिस ने कई किसानों को गिरफ्तार कर लिया, जिसमें जींद के 5 किसान भी शामिल हैं, मनोहरपुर गांव में 31 जनवरी को नवनीत की गिरफ्तारी की खबर मिली थी।
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