Edited By Manisha rana, Updated: 18 Sep, 2024 11:30 AM
हरियाणा के अब तक के 58 वर्षों के सियासी इतिहास में 14 सामान्य चुनाव हुए हैं और 2014 के चुनाव में सर्वाधिक 76.13 प्रतिशत मतदान हुआ। 1968 में प्रदेश में हुए दूसरे सामान्य चुनाव में सबसे कम 57.26 फीसदी मतदान हुआ था।
चंडीगढ़ (संजय अरोड़ा) : हरियाणा के अब तक के 58 वर्षों के सियासी इतिहास में 14 सामान्य चुनाव हुए हैं और 2014 के चुनाव में सर्वाधिक 76.13 प्रतिशत मतदान हुआ। 1968 में प्रदेश में हुए दूसरे सामान्य चुनाव में सबसे कम 57.26 फीसदी मतदान हुआ था। 1991 में सबसे अधिक 1885 उम्मीदवार मैदान में थे तो 1967 में सबसे कम 467 प्रत्याशियों ने चुनाव लड़ा था। 2014 के चुनाव में सबसे अधिक 13 महिलाएं विधायक बनने में सफल हुई।
गौरतलब है कि साल 1967 के चुनाव में प्रदेश में 81 विधानसभा सीटें थी। उस समय 43 लाख 87 हजार 980 मतदाता थे। चुनाव में 467 उम्मीदवारों में से 8 महिलाएं शामिल थीं। पहले चुनाव में 72.65 प्रतिशत मतदान हुआ और 4 महिलाएं विधायक चुनी गईं। 1968 के विधानसभा चुनावों में मतदाताओं की संख्या 45 लाख 52 हजार 539 हो गई। चुनाव में केवल 57.26 फीसदी ही मतदान हुआ। चुनाव में कुल 398 उम्मीदवार थे जिनमें 12 महिलाएं शामिल थीं। दूसरे सामान्य चुनाव में 7 महिलाओं को विधायक बनने का अवसर मिला।
इसी तरह से 1972 के विधानसभा चुनाव में 50 लाख 91 हजार 82 मतदाता थे और चुनाव में कुल 384 उम्मीदवारों ने किस्मत आजमाई। 13 महिला प्रत्याशियों में से 4 विधायक निर्वाचित हुई। 1977 के विधानसभा चुनाव में 59 लाख 38 हजार 821 मतदाता थे और 64.46 फीसदी मतदान हुआ। चुनाव में 651 पुरुष जबकि 20 महिला उम्मीदवार ने किस्मत आजामाई। 4 महिलाओं को विधायक बनने का अवसर मिला। 1982 के चुनाव में कुल 1095 उम्मीदवार मैदान में थे। इनमें से 27 महिलाएं शामिल थीं और 7 महिलाएं विधायक बनने में सफल भी हुई 1987 में 87 लाख 628 मतदाता थे। चुनाव में 1322 उम्मीदवारों ने ताल ठोकी और इनमें 35 महिलाएं भी शामिल थीं। उस चुनाव में 71.24 प्रतिशत मतदाताओं ने अपने मताधिकार का उपयोग किया।
1991 में 1844 पुरुष एवं 41 महिलाएं थीं चुनावी मैदान में
विशेष पहलू यह है कि प्रदेश में अब तक हुए चुनावों में सबसे अधिक उम्मीदवार 1991 के चुनाव में थे। 1991 में 1844 पुरुष जबकि 41 महिला उम्मीदवार थीं। चुनाव में 47 लाख 31 हजार 912 मतदाता थे और 65.86 प्रतिशत ने अपने मत का प्रयोग किया। उस चुनाव में 6 महिलाओं को विधायक बनने का मौका मिला था। 1996 के विधानसभा चुनाव में प्रदेश में मतदाताओं की संख्या 1 करोड़ 11 लाख 55 हजार 242 तक पहुंच गई। चुनाव में 1012 पुरुष जबकि 17 महिला उम्मीदवार थीं। 4 महिलाओं को विधायक बनने में सफलता मिली।
साल 2000 के चुनाव में प्रदेश में 1 करोड़ 11 लाख 53 हजार 183 मतदाता थे और 69.01 प्रतिशत ने अपने मत का प्रयोग किया। उस चुनाव में 916 पुरुष, जबकि 49 महिलाएं मैदान में थीं। 4 महिलाएं विधायक चुनी गई थीं। 2014 में चुनी गई थीं सर्वाधिक 13 महिला विधायक अब तक के सियासी सफर पर नजर डालें तो साल 2014 में सबसे अधिक 13 महिलाएं विधायक चुनी गई थीं। इसी तरह से साल 2005 में भी 11 महिलाओं को विधायक बनने का मौका मिला। 2005 के विधानसभा चुनाव में 1 करोड़ 27 लाख 35 हजार 888 मतदाता थे और 71.96 प्रतिशत ने मताधिकार का इस्तेमाल किया। चुनावी मैदान में 923 पुरुष जबकि 60 महिलाएं उत्तरी थीं। 2009 के विधानसभा चुनाव में 1 करोड़ 31 लाख 17 हजार 142 मतदाता थे और 72.29 प्रतिशत ने अपने मत का प्रयोग किया।
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