Edited By Yakeen Kumar, Updated: 04 Mar, 2025 09:46 PM

अभय चौटाला ने कहा कि सरकारी संरक्षण में हरियाणा के अंदर अवैध कालोनियों पनप रही हैं। सरकार की शह पर कालोनियों काटी जा रही है। भूमाफिया को खुली छूट दी हुई है। मंत्री एवं सरकार में पहुंच रखने वाले नेता जनता की जेब पर डाका डाल रहे हैं।
सिरसा (सतपाल सिंह) : इनैलो नेता अभय सिंह चौटाला का कहना है कि प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री चौ. ओमप्रकाश चौटाला की स्मृति में 5 मार्च को सिरसा की जननायक चौ. देवीलाल विद्यापीठ में महामहिम उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ म्यूजिम की आधारशिला रखेंगे। इस म्यूजिम में चौ. ओमप्रकाश चौटाला के जीवन से जुड़ी हुई वस्तुओं को रखा जाएगा, ताकि भावी पीढ़ी को उनके जीवन से प्रेरणा मिल सके।
अभय चौटाला ने प्रदेश में हुई ओलावृष्टि से किसानों पर कहा कि तीन दिन के लिए पोर्टल खुला है, जबकि पोर्टल हमेशा खुला रहना चाहिए, ताकि किसान अपनी समस्या वहां पर रख सकें। अभय चौटाला ने कहा कि भाजपा सरकार के वरिष्ठ मंत्री अनिल विज ही जब यह कह रहे हैं कि मुख्यमंत्री हवा मे हैं और उडऩखटोले से नीचे ही नहीं उतर रहे हैं। विज के इस बयान से जाहिर हो गया है कि मुख्यमंत्री धरातल से कोसों दूर हैं।
अवैध कालोनियों के जरिए हो रहा है खेल- चौटाला
अभय चौटाला ने कहा कि सरकारी संरक्षण में हरियाणा के अंदर अवैध कालोनियों पनप रही हैं। सरकार की शह पर कालोनियों काटी जा रही है। भूमाफिया को खुली छूट दी हुई है। मंत्री एवं सरकार में पहुंच रखने वाले नेता जनता की जेब पर डाका डाल रहे हैं। मकान बनाने के लिए लोग पहले प्लांट ले लेते हैं और दलालों के झांसे में आ जाते हैं। बाद में उनको इन अवैध कालोनियों मे न तो सीवरेज की सुविधा मिलती है और न ही सफाई, बिजली, पानी एवं सडक़ों की सुविधाएं मिलती हैं। अभय चौटाला ने कहा कि आज जहां प्रदेश में भूमाफिया हावी हैं, तो पेपर लीक की घटनाओं के चलते युवा भी हताश एवं मायूस हैं। पहले सरकार ऐसे लोगों को प्रोत्साहित करती है और फिर खुद ही संरक्षण देती है।
सरकार कर रही भेदभाव- चौटाला
इनैलो के राष्ट्रीय प्रधान महासचिव चौ. अभय सिंह चौटाला का कहना है कि विधायकों को विकास के लिए दी जाने वाली वार्षिक 5 करोड़ रुपए की ग्रांट में अब तक सरकार भेदभाव रवैया अपनाती रही है। सत्ता पक्ष के विधायकों को ग्रांट समय पर दी जाती रही है, लेकिन विपक्ष के विधायकों से भेदभाव किया जाता रहा है। अभय चौटाला ने कहा कि सरकार को 5 करोड़ रुपए की बजाय ग्रांट को 10 करोड़ रुपए वार्षिक करनी चाहिए। अभय चौटाला ने तर्क दिया कि जब ब्लॉक समिति के चेयरमैन को विकास के लिए 20 से 30 करोड़ रुपए की ग्रांट मिलती है तो विधायकों को भी इसी तर्ज पर ग्रांट राशि दी जानी चाहिए।
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