Edited By Manisha rana, Updated: 09 Nov, 2020 01:18 PM
जिले में यहां कोरोना लगातार अपने पैर फैला रहा है, वहीं प्रदूषण लैवल भी लगातार खतरनाक स्तर की ओऱ बढ़ता जा रहा है। कोरोना के कारण जहां प्रतिदिन के हिसाब से 200 लोग बीमार पड़ रहे है, औसतन 5 मरीजों की मौत हो रही है...
हिसार (ब्यूरो) : जिले में यहां कोरोना लगातार अपने पैर फैला रहा है, वहीं प्रदूषण लैवल भी लगातार खतरनाक स्तर की ओऱ बढ़ता जा रहा है। कोरोना के कारण जहां प्रतिदिन के हिसाब से 200 लोग बीमार पड़ रहे है, औसतन 5 मरीजों की मौत हो रही है वहीं अब प्रदूषण लैवल भी लगातार तीसरी बार 500 के पार पहुंच गया है । रविवार को सबसे ज्यादा लंबे समय तक हवा की क्वालिटी खतरनाक स्तर पर 400 पार रिकार्ड की गई।
सुबह से ही चारों ओऱ जहरीला स्मॉग छाया रहा, जिसके कारण लोगों को सांस लेने, सिर चकराने व आखों में जलन जैसी समस्याओं का सामना करना पड़ा। रविवार सुबह से ही शाम तक पूरे दिन स्मॉग के कारण विजिबिलिटी भी कम रही। रविवार को खराब हवा की पी.एम. 2.5 प्रदूषण लैवल न्यूनतम 240 व अधिकतम 500 दर्ज किया गया। इसके अलावा पी.एम. 10 लैवल न्यूनतम 190 व अधिकतम 452 दर्ज किया गया। खराब हवा के लैवल में सुबह 10 बजे के करीबन थोड़ी गिरावट दर्ज की गई, उसके बाद देर शाम तक हालात खराब रहे।
प्रदेश में 177 व हिसार में 19 जगह जला पराली
रविवार को पूरे राज्य में पराली जलाने के 177 नए मामले सामने आए है। इनमें से सबसे ज्यादा फतेहाबाद में 57 केस मिले है। इसके अलावा हिसार में 19, जींद में 46, कैथल में 20 मामले मिले है। हिसार जिले में अब तक फॉयर लोकेशन के 227 प्वाइंट डिटैक्ट हो चुके है। इसके अलावा पराली जलाने के मामलों में किसानों पर 2 लाख का जुर्माना किया जा चुका है और 106 एकड़ में कुल पराली जलाए जाने का रिकार्ड है।
कोरोना मरीजों के लिए जानलेवा है प्रदूषण
हवा में लगातार बढ़ रहे धूल के कण कोरोना मरीजों के लिए सबसे ज्यादा खतरनाक साबिक होंगे। कोरोना के कारण मरीज के श्वसन तंत्र पर सबसे ज्यादा असर पड़ता है। मरीज को फेफड़े व सांस नली में कोरोना के कारण दिक्कत पैदा होती है। मरीज को सांस लेने के लिए साफ हवा की जरुरत पड़ती है। अगर मरीज खराब हवा में सांस लेता है तो उसकी परेशानी बढ़ सकती है। इसके अलावा खराब हवा में सांस लेने पर सामान्य व्यक्ति को भी सांस लेने, सिरदर्द, आंखों में जलन व उल्टियां आने की समस्या हो सकती है। इससे बचाव के लिए जरुरी है कि मास्क का प्रयोग ज्यादा से ज्यादा किया जाए। सुबह की सैर को मौसम साफ होने तक टाल दिया जाए।