Edited By Manisha rana, Updated: 02 Aug, 2020 04:42 PM
इंद्री के गांव बयाना में मनरेगा के तहत चल रहे खुदाई के कार्य करते हुए मिट्टी के नीचे दबने से एक महिला की मौत हो गई...
इंद्री (मेनपाल) : इंद्री के गांव बयाना में मनरेगा के तहत चल रहे खुदाई के कार्य करते हुए मिट्टी के नीचे दबने से एक महिला की मौत हो गई तथा 4 घायल हो गए। घायल मनरेगा मजदूरों में दो की हालत चिंताजनक बनी हुई है। मनरेगा अधिकारियों की लापरवाही के कारण पीड़ित परिवार में गहरा आक्रोश बना हुआ है तथा इस घटना के दोषियों के खिलाफ कार्रवाई की मांग की जा रही है। पीड़ित परिवार ने इंद्री स्थित अस्पताल में दोषियों के खिलाफ कार्रवाई की मांग को लेकर हंगामा किया। इस दर्दनाक घटना को लेकर लोग दहशत में है। पुलिस ने मौके पर पहुंच कर कार्रवाई शुरू कर दी है।
लोगों ने बताया कि गांव बयाना में मनरेगा के तहत जंगल में मिट्टी खुदाई का कार्य चल रहा है। इस कार्य में 50 के करीब मजदूर काम कर रहे थे। मिट्टी खुदाई गहरी होने के कारण 30-40 फिट नीचे गहराई तक मिट्टी खुदाई हो रही है। अचानक खुदाई के दौरान मिट्टी की ढांग मजदूरों के ऊपर गिर जाने के कारण मजदूर नीचे दब गए। मजदूरों के दबने की चीख-पुकार सुनकर मजदूरों को बाहर निकालने की कार्रवाई शुरू की गई। मिट्टी में दबे हंसराज ज्ञान देवी, अशोक कुमार, अमित और सुरैया को बाहर निकाला गया। इन्हें आनन-फानन में इंद्री अस्पताल में लाया गया, जहां पर करीब 45 वर्षीय सुरैया पत्नी महबूब को मृत घोषित कर दिया गया। घायलों में जानो देवी की हालत चिंताजनक बनी हुई है जिसे उपचार के लिए कल्पना चावला मेडिकल कॉलेज हॉस्पिटल करनाल में भेज दिया गया। हंसराज अशोक कुमार व अमित कुमार का उपचार चल रहा है।
वहीं गांव के सरपंच प्रतिनिधि मुकेश कुमार ने बताया कि गांव बयाना में मनरेगा के तहत खुदाई का कार्य चल रहा था। इस दौरान मिट्टी के नीचे दबने से एक महिला की मौत हो गई तथा 4 घायल हो गए। उन्होंने बताया कि यह कार्य मनरेगा अधिकारियों की देखरेख में चल रहा था। उन्होंने बताया कि पुलिस ने मौके पर पहुंचकर कार्रवाई शुरू कर दी है।
मृतक महिला के पति महबूब ने बताया कि मनरेगा के तहत गांव बयाना में चल रहे कार्य में घोर अनियमितताएं बढ़ती गई जिस कारण उसकी पत्नी सुरैया की मौत हुई है तथा चार गंभीर रूप से घायल हुए है। उन्होंने आरोप लगाया कि मनरेगा के तहत किए जा रहे कार्यों में मजदूरों की सुरक्षा के कोई इंतजाम नहीं किए गए थे जिस कारण यह दर्दनाक हादसा हुआ है। उन्होंने इस घटना के दोषियों के खिलाफ कार्रवाई की मांग की।
उधर इंद्री अस्पताल में मौजूद पीड़ित पक्ष के लोगों ने इस घटना को लेकर पुलिस व एंबुलेंस कर्मचारियों की समय पर ना पहुंचने के आरोप भी लगाया। स्मरण रहे कि इससे पहले भी गांव बीबीपुर में भी मनरेगा के तहत चल रहे कार्य के दौरान मिट्टी की डांग गिर जाने से मजदूर दब गए थे। मजदूरों के दबने से एक मनरेगा मजदूर की मौत हो गई थी तथा कई घायल हो गए थे । इसके बावजूद भी मनरेगा खुदाई के कार्य में लापरवाही करने का कार्य चल रहा है और अधिकारी इस तरफ कोई ध्यान नहीं दे रहे हैं। बड़े अधिकारियों की लापरवाही के चलते गांव बयाना में भी एक और हादसा हो गया।