Edited By Manisha rana, Updated: 04 Nov, 2020 12:31 PM
‘सजना है मुझे सजना के लिए’ गीत के ये बोल महिलाओं से जुड़े करवा चौथ पर्व पर सटीक बैठते हैं। पारिवारिक आस्थाओं को लेकर हिंदू समुदाय में कोई न कोई पर्व मनाया जाता रहा है। इन पर्वों को जहां पति...
गुडग़ांव (ब्यूरो) : ‘सजना है मुझे सजना के लिए’ गीत के ये बोल महिलाओं से जुड़े करवा चौथ पर्व पर सटीक बैठते हैं। पारिवारिक आस्थाओं को लेकर हिंदू समुदाय में कोई न कोई पर्व मनाया जाता रहा है। इन पर्वों को जहां पति, संतान व प्रियजनों की दीर्घायु के लिए मनाया जाता है, वहीं आपसी भाईचारा को सुदृढ़ बनाने के लिए पर्वों का सहारा लिया जाता है। इसी क्रम में पति की दीर्घायु के लिए सुहागिनें आज बुधवार को करवा चौथ का व्रत रखकर इस पर्व को धूमधाम से मनाएंगी।
करवा चौथ को प्रेम और विश्वास का पर्व माना जाता है। भारतीय विवाहित महिलाओं के लिए सिंदूर का बड़ा ही महत्व है। सुहागिनें अपने पति की लंबी उम्र के लिए इस व्रत को रखती हैं। महिलाओं के लिए श्रृंगार का विशेष महत्व है। महिलाएं पारंपरिक रूप से सजती संवरती हैं। व्रत रखकर महिलाएं चांद के उदय होने पर अपने पति की पूजा अर्चना कर और उनसे सुरक्षा का आशीर्वाद प्राप्त कर व्रत का समापन करती हैं। करवा का भी इस पर्व में बड़ा महत्व है। चंद्रमा को करवे से ही जल का अघ्र्य देते हैं। बाजारों में करवे की बिक्री भी खूब हो रही है।