Edited By Isha, Updated: 01 Feb, 2020 04:36 PM
अरावली की खूबसूरत वादियों में शनिवार से लोक नृत्य, संगीत व शिल्पकला का संगम शुरू हो जाएगा। जिसमें 39 देशों के एक हजार से अधिक कलाकार भाग लेंगे। 34वें सूरजकुंड अंतरराष्ट्रीय ......
फरीदाबाद (अनिल राठी) : 34वां सूरजकुंड अंतरराष्ट्रीय हस्तशिल्प मेला शनिवार 1 फरवरी से शुरू हो गया है। राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने रिबन काटकर औपचारिक रूप से मेले का शुभारंभ किया। हरियाणा के राज्यपाल सत्यदेव नारायण आर्य ने समारोह की अध्यक्षता की।
इस मौके पर हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल, हिमाचल प्रदेश के मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर, हरियाणा के पर्यटन मंत्री कंवरपाल और उज़्बेकिस्तान दूतावास के राजदूत रहाद आरिव भी मौजूद रहे।
हिमाचल प्रदेश है थीम स्टेट
सूरजकुंड मेला की शुरुआत वर्ष 1987 में पहली बार हस्तशिल्प, हथकरघा और भारत की सांस्कृतिक विरासत की समृद्धि और विविधता को प्रदर्शित करने के लिए की गई थी। इसमें थीम स्टेट और सहभागी देश बनाने की परंपरा है। इस बार थीम स्टेट हिमाचल प्रदेश है और सहभागी देश उज्बेकिस्तान है।
सूरजकुंड मेला प्राधिकरण और हरियाणा पर्यटन द्वारा केंद्रीय पर्यटन, कपड़ा, संस्कृति, विदेश मंत्रालय और हरियाणा सरकार के सहयोग से संयुक्त रूप से आयोजित किया गया है। यह मेला शिल्प, संस्कृति और भारत के व्यंजन प्रदर्शन के लिए अंतरराष्ट्रीय पर्यटन कैलेंडर पर गर्व और प्रमुखता से स्थान रखता है।
यह देश ले रहे हैं हिस्सा
इस बार सूरजकुंड शिल्प मेले में 40 से अधिक देश हिस्सा ले रहे हैं जिसमें - उज्बेकिस्तान, नेपाल, अफगानिस्तान, न्यूजीलैंड, उज्बेकिस्तान, किर्गिस्तान, ट्यूनीशिया, जिम्बाब्वे, बुरूंडी, सेनेगल, जाम्बिया, कोमोरोस, तुर्की, मिस्र, सीरिया, दक्षिण अफ्रीका, ऑस्ट्रिया, नीदरलैंड, श्रीलंका, अर्जेंटीना, नाइजर, ताजिकिस्तान ,बांग्लादेश, लेबनान, घाना, सेशेल्स, इथियोपिया, मोरक्को, फिलिस्तीन, भूटान, युगांडा, आर्मेनिया, मालदीव, सूडान, केन्या और लोकतांत्रिक गणराज्य कांगो शामिल हैं।