Edited By Ajay Kumar Sharma, Updated: 23 Jul, 2023 10:53 PM

सिरसा में घग्गर का जलस्तर लगातार कम हो रहा है। इस दौरान उपमुख्यमंत्री दुष्यंत चौटाला ओटू हेड पर पहुंचे, जहां पर उन्होंने अधिकारियों से स्थिति का जायजा लिया। दुष्यंत चौटाला ने कहा कि अब बाढ़ की स्थिति नियंत्रण में है। साथ ही और उपायुक्तों को नुकसान...
सिरसा(सतनाम/सुरेंद्र): सिरसा में घग्गर का जलस्तर लगातार कम हो रहा है। इस दौरान उपमुख्यमंत्री दुष्यंत चौटाला ओटू हेड पर पहुंचे, जहां पर उन्होंने अधिकारियों से स्थिति का जायजा लिया। दुष्यंत चौटाला ने कहा कि अब बाढ़ की स्थिति नियंत्रण में है। साथ ही और उपायुक्तों को नुकसान के आकलन के दिशा निर्देश दिए गए हैं। सभी बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों में मुआवजा दी जाएगी।
उपमुख्यमंत्री दुष्यंत चौटाला ने कहा कि आज हरियाणा में करीब 1400 से अधिक गांव बाढ़ के पानी से प्रभावित हैं। जिन्हें सरकार की और से पर्याप्त मदद दी जा रही है। उन्होंने कहा कि खेतों में जमा पानी की निकासी के लिए भी उपायुक्तों को दिशा निर्देश दिए गए हैं। प्रशासनिक स्तर पर मदद के उद्देश्य से प्रशासन डीजल व अन्य आर्थिक मदद देकर किसानों की क्षतिपूर्ति की जा रही है। हरियाणा के पूर्व सीएम भूपेंद्र सिंह हुड्डा के बाढ़ संबंधी मामले में राज्य सरकार को कटघरे में खड़ा करने के सवाल पर उन्होंने कहा कि सिरसा में घग्गर के के इतिहास में कभी भी 50 हजार क्यूसेक से अधिक पानी नहीं आया।
ऐसे में शासन प्रशासन ने स्थिति को बेहतर तरीके से संभालते हुए प्रभावित लोगों को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाया है, इसलिए पूर्व सीएम को बयान देने से पहले वास्तविक स्थिति का अंदाजा होना चाहिए। उपमुख्यमंत्री ने कहा कि 25 जुलाई के बाद राज्य सरकार उन सभी जिलों की समीक्षा करेगी जो बाढ़ से प्रभावित रहे हैं। जहां तक उन जिलों को बाढ़ से आर्थिक रूप से मदद देने की बात है तो राज्य सरकार के पास पर्याप्त धनराशि उपलब्ध है और यदि राज्य सरकार को केंद्र सरकार से मदद की आवश्यकता पड़ी तो मदद ली जाएगी।
आम आदमी पार्टी की ओर से हरियाणा पर दिल्ली को बाढ़ से डुबोने के सवाल पर उपमुख्यमंत्री ने कहा कि हरियाणा के तो स्वयं 12 जिले बाढ़ से प्रभावित हैं। उन्होंने कहा कि दिल्ली में बाढ़ का कारण दिल्ली सरकार की ओर से प्रबंधन में कमी है। उपमुख्यमंत्री दुष्यंत चौटाला ने कहा कि उनका मानना है कि हरियाणा में करीब 5 से 7 लाख एकड़ भूमि में फसल प्रभावित हुई है। ऐसे में एनडीआरएफ की ओर से राज्य सरकार के समक्ष प्रस्तुत की जाने वाली रिपोर्ट पर बहुत कुछ निर्भर करता है कि किस जिले में कितनी सहायता दी जानी अपेक्षित है। उपमुख्यमंत्री ने कहा कि पहले मदद के चेक जिला ट्रेजरी में आते थे,लेकिन अब सरकार ने सहायता राशि को जल्द से जल्द प्रभावितों तक पहुंचने की दिशा में कदम उठाते हुए इसे पोर्टल के माध्यम से दिया जाना अनिवार्य किया है।
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