इनेलो को सीट भले ही एक मिली हो लेकिन चश्मे को कोई खतरा नहीं

Edited By vinod kumar, Updated: 02 Dec, 2019 10:31 AM

इनेलो  को अभी हाल में हुए विधानसभा चुनावों में करीब कुल 3 लाख वोट व एक सीट ही मिल पाई लेकिन इसके बबजूद 2024 में होने वाले विधानसभा चुनावों में उसके चुनावी निशान चश्मे को कोई खतरा नहीं है, अगले चुनावों तक चुनावी निशान चश्मा इनैलो के पास ही रहेगा।

अम्बाला(रीटा/सुमन) : इनेलो  को अभी हाल में हुए विधानसभा चुनावों में करीब कुल 3 लाख वोट व एक सीट ही मिल पाई लेकिन इसके बबजूद 2024 में होने वाले विधानसभा चुनावों में उसके चुनावी निशान चश्मे को कोई खतरा नहीं है, अगले चुनावों तक चुनावी निशान चश्मा इनैलो के पास ही रहेगा।

इनेलो को फरवरी 2000 में हुए हरियाणा विधानसभा आम चुनावों के बाद प्रादेशिक दल के रूप में मान्यता प्राप्त हुई थी और चश्मे का चुनाव चिन्ह उसके लिए आरक्षित किया गया था। इस बार उसका प्रदर्शन बहुत ही कमजोर  रहा है इसलिए अटकलें लगाई जाने लगी थीं कि शायद अगले विधानसभा चुनाव में प्रादेशिक दल के रूप में मान्यता समाप्त हो जाए और चश्मे पर उसका हक न रहे। आर.टी.आई.एक्टिविस्ट हेमंत कुमार के मुताबिक 2014 के लोकसभा चुनावों के बाद चुनाव आयोग ने अपने नियमों में संशोधन कर यह प्रावधान किया था कि हर मान्यता प्राप्त राजनीतिक दल,चाहे तो राष्ट्रीय हो या राज्य दल,उसकी मान्यता को जारी रखने या रद्द करने का आंकलन एक नहीं अपितु दो आम चुनावों में उसके चुनावी प्रदर्शन के आधार पर किया जाएगा।

दोनों चुनावों के नतीजों के आंकलन से जाहिर होता है कि इनेलो की पहचान  मान्यता प्राप्त राज्य दल के रूप में बनी रहेगी एवं चश्मे का चुनाव चिन्ह पर भी उसका एकाधिकार कायम रहेगा। चुनाव चिन्ह (आरक्षण एवं आबंटन) नियमावली, 1968 के पैरा 6ए के अनुसार केवल उसी रजिस्टर्ड गैर मान्यता प्राप्त राजनीतिक दल को उसके पिछले चुनाव में प्रदर्शन अर्थात चुनाव नतीजों के आधार पर चुनाव आयोग द्वारा राज्य दल का दर्जा प्रदान किया जाता है जिसने राज्य में हुए मौजूदा या पिछले विधानसभा चुनाव में या तो कुल पड़े वैध वोटो में से कम से कम 6 प्रतिशत वोट हासिल किए हों और न्यूनतम दो सीटें जीती हों।

विधानसभा की कुल सीटों की संख्या में से कम से कम 3 प्रतिशत सीटें जीतने वाले दल को मान्यता देने का प्रावधान है। 2019 में भले ही इनैलो चुनाव चिन्ह हासिल करने के लिए चुनाव आयोग की कसौटी पर खरा नहीं उतरा हो लेकिन 2014 में उसे मिली सीटें व वोटें चुनाव चिन्ह पर उसके दावे के लिए पर्याप्त हैं। 2019 में उसे कुल पड़े वोटों का मात्र 2.44 प्रतिशत अर्थात 3 लाख 6 हजार 28 वोट मिले व केवल एक सीट मिली जबकि अक्तूबर,2014 में उसे 29 लाख 96 हजार 203 वोट अर्थात 24.11 प्रतिशत वोट मिले और 19 सीटें मिली थीं।

Related Story

Trending Topics

IPL
Royal Challengers Bengaluru

190/9

20.0

Punjab Kings

184/7

20.0

Royal Challengers Bengaluru win by 6 runs

RR 9.50
img title
img title

Be on the top of everything happening around the world.

Try Premium Service.

Subscribe Now!