Edited By Yakeen Kumar, Updated: 19 Mar, 2025 08:40 PM

जिस परिवार ने 26 वर्षीय रिश्तेदार को पहले काम दिलाया और फिर उसे अपने ही घर में रहने का आश्रय दिया उसी ने रिश्तों को तार-तार करते हुए विश्वास और भरोसे का भी गला घोंट दिया।
पलवल (गुरुदत्त गर्ग) : पलवल में जिस परिवार ने 26 वर्षीय रिश्तेदार को पहले काम दिलाया और फिर उसे अपने ही घर में रहने का आश्रय दिया उसी ने रिश्तों को तार-तार करते हुए विश्वास और भरोसे का भी गला घोंट दिया। हवश के इस भेड़िये ने तीसरी कक्षा में पढ़ने वाली मासूम के साथ तीन सालों तक दरिंदगी की। पलवल एडीजे प्रशांत राना की कोर्ट ने आज मंगलवार को सख्त सजा सुनाई है।
जानकारी के अनुसार पलवल कैंप थाना क्षेत्र में रहने वाली महिला ने 2 नवंबर 2022 को दी शिकायत के अनुसार वह अपने पति और तीन बच्चों के साथ किराए के कमरे में रहती है। उसका पति हलवाई की दुकान पर काम करता है। पति के साथ उसकी सगी बहन का देवर मुकेश भी पिछले 4-5 साल से उसी हलवाई के पास काम कर रहा था। जिसे उन्होंने ही काम भी दिलवाया और अपने साथ ही एक कमरे के मकान में रखा हुआ था।
इलाज के दौरान हुआ खुलासा
आरोपी ने उसकी बेटी को डरा-धमकाकर 3 साल तक दुष्कर्म किया। जिसके कारण वह 5 महीने की गर्भवती हो गई है। दुष्कर्म और गर्भवती होने की जानकारी उसे तब मिली जब मासूम लड़की काफी बीमार हो गई। डॉक्टरों ने इलाज के दौरान उसे गर्भवती बताया। परिवार यह सुनकर दंग रह गया।
आरोपी का डीएनए हुआ मैच
2 नवम्बर 2022 को पुलिस को शिकायत के बाद उसी दिन मारपीट तथा जान से मारने और 6 पॉक्सो एक्ट के तहत प्राथमिकी दर्ज कर ली गई। पॉक्सो फास्ट ट्रैक कोर्ट में 2 साल 4 महीने तक चले केस के दौरान में तीसरी कक्षा में पढ़ने वाली मासूम के पेट में पल रहे लगभग 6 माह के भ्रूण का डीएनए आरोपी के डीएनए से मैच हो गया। जिसके आधार पर कोर्ट ने उम्रकैद की सजा सुनाई है।
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