डिजीटल अरैस्ट कर ठगी का मामला: पुलिस ने 3 आरोपियों को किया गिरफ्तार, कम्बोडिया से चलता है सारा खेल

Edited By Manisha rana, Updated: 07 Dec, 2024 09:35 AM

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महिला डॉक्टर को डिजीटल अरैस्ट कर साइबर ठगी के मामले में साइबर क्राइम थाना पुलिस ने राजस्थान के जिला जयपुर निवासी (29) शक्तिव्यास, जोधपुर की भगवती काॅलोनी निवासी (24) सौरभ कपूर व बिहार के गांव गौराघाट निवासी (20) नीरज कुमार को गिरफ्तार किया है।

यमुनानगर : महिला डॉक्टर को डिजीटल अरैस्ट कर साइबर ठगी के मामले में साइबर क्राइम थाना पुलिस ने राजस्थान के जिला जयपुर निवासी (29) शक्तिव्यास, जोधपुर की भगवती काॅलोनी निवासी (24) सौरभ कपूर व बिहार के गांव गौराघाट निवासी (20) नीरज कुमार को गिरफ्तार किया है। जिले में डिजीटल अरैस्ट कर ठगी का यह पहला मामला है, जिसमें साइबर क्राइम थाना पुलिस की टीम ने कार्रवाई करते हुए 3 आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया है। साइबर क्राइम थाना प्रभारी रविकांत ने बताया कि आरोपियों को पुलिस रिमांड पर लेकर पूछताछ की जा रही है। मामले की जांच कर रहे ए.एस.आई. बलदेव सिंह ने बताया कि यह सारा खेल कम्बोडिया से चलता है। रिमांड के दौरान और खुलासे व गिरफ्तारियां होंगी। बता दें प्रधानमंत्री भी डिजीटल अरैस्ट पर चिंता जता चुके हैं। 

यह था मामला 

डॉक्टर 9 नवम्बर को अपने घर पर थी तभी उनके पास अनजान नंबर से काॅल आया। काॅल करने वाले ने खुद को साइबर क्राइम दिल्ली से बताया, जिसने डॉक्टर से कहा कि उसके विरूद्ध मनी लांड्रिंग व ड्रग्स और मानव तस्करी का केस दर्ज हुआ है। यह भी कहा कि वर्ष 2017 से एच.डी.एफ.सी. बैंक में खाता चल रहा है, जिसमें मनी लांड्रिंग के रुपए आते हैं। आधार कार्ड से मोबाइल नंबर पता लगा है। खुद को साइबर क्राइम थाना से बताने वाले ठग ने डॉक्टर को कहा कि आपके नंबर से लोगों को ब्लैकमेल किया जा रहा है। धमकियां दी जा रही है। बैंक खातों की जानकारी भी डाक्टर से मांगी गई। धमकी दी कि सभी खातों की जानकारी दें और उसमें जो भी रुपए हैं। उसका 99 प्रतिशत सी.बी.आई. में जमा कराने पडेंगे। यदि रुपए जमा नहीं कराए तो कानूनी कार्रवाई होगी, जिसके बाद उसके पास एक खाता नंबर भेजा गया। पीड़ित ने 5 लाख 77 हजार रुपए उस खाते में भिजवा दिए, जिसके बाद अलग-अलग 14 नवम्बर तक उससे 13 लाख 20 हजार 277 रुपए इस खाते में जमा कराए गए। ठगों ने डाक्टर को डिजीटल अरैस्ट रखा गया। उसके पास कभी सी.बी.आई. अधिकारी बनकर तो कभी साइबर क्राइम दिल्ली से अधिकारी बनकर काॅल की जाती रही। 19 नवम्बर को यह मामला दर्ज हुआ था। 

टीम के लिए गिरफ्तारी बड़ी सफलता

जांच टीम के मुताबिक पकड़े गए आरोपियों के पास 2 खाते हैं। यह खाते शक्तिव्यास के हैं जो निजी बैंक में नौकरी करता है। उसके एक खाते में 5 लाख रुपए बरामद हुए हैं। आरोपी सौरभ व नीरज ठगी के रुपयों को आगे भेजते। यह दोनों आरोपी ही ठगी के लिए शिकार तलाशते। साइबर ठगी के केस में पुलिस के तीनों आरोपियों की गिरफ्तारी बड़ी सफलता है। लगातार डिजीटल अरैस्ट को जागरूकता जगाई जा रही है। इसके साथ ही इसकी केंद्रीय स्तर पर भी मानिटरिंग हो रही है। 

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