Edited By Manisha rana, Updated: 01 Apr, 2021 03:19 PM
किसान की गेहूं की खरीद को लेकर हरियाणा सरकार द्वारा यह लम्बे चौड़े दावे किए जा रहे है कि किसान की गेहूं की फसल की खरीद 1 अप्रैल से शुरू कर दी जाएगी। अगर ऐलनाबाद अनाज मंडी की...
ऐलनाबाद (सुरेंद्र सरदाना) : किसान की गेहूं की खरीद को लेकर हरियाणा सरकार द्वारा यह लम्बे चौड़े दावे किए जा रहे है कि किसान की गेहूं की फसल की खरीद 1 अप्रैल से शुरू कर दी जाएगी। अगर ऐलनाबाद अनाज मंडी की बात की जाए तो बेशक अनाज मंडी में आज 1 अप्रैल को कोई भी किसान अपनी गेहूं की फसल को बिक्री के लिए नहीं ले कर आया। लेकिन सरकार के 1 अप्रैल को गेहूं की खरीद के दावे भी हवाहवाई नज़र आए। आज सरकार की खरीद एजेंसी हैफेड के मैनेजर राजेन्द्र कुमार से गेहूं की 1 अप्रैल से खरीद की जाने वाली गेहूं के लिए सरकार द्वारा जारी दिशा निर्देश के बारे पूछा गया तो उन्होंने कहा कि अभी तक सरकार द्वारा उन्हें कोई गाइडलाइन नहीं आई है। जैसे ही गाइडलाइन आएगी उसकी पालना कि जाएगी।
लेकिन ऐसी गाइडलाइन से पहले एजेंसी द्वारा यह खरीद आढ़ती एसोसिएशन व सचिव मार्किट कमेटी ऐलनाबाद के आपसी तालमेल से जैसे होगी वैसे खरीदी जाएगी। उक्त जवाब से अब सवाल खड़ा होता है कि गेहूं की खरीद अब मार्किट कमेटी के सचिव व आढ़ती एसोसिएशन के रहमोकरम पर निर्भर करेगी या फिर सरकार द्वारा कोई दिशानिर्देश दिए जाएंगे? यदि सरकार द्वारा ऐसे दिशा निर्देश दिए जाने है तो ऐसे दिशानिर्देश 1 अप्रैल से पहले क्यों जारी नहीं किए गए? जब कि यह खरीद 1 अप्रैल से शुरू कर दी गई है ।
दूसरी तरफ सचिव दीपक कुमार ने बताया कि उन्होंने गेहूं खरीद के लिए पूर्ण रूप से व्यवस्था कर ली है ताकि किसान को किसी प्रकार की समस्या न आए। लेकिन पंजाब केसरी टीम द्वारा उन्हें जब यह सवाल किया गया कि आज 1 अप्रैल को सरकारी खरीद के पहले दिन कुल कितने किसानों को अपनी गेहूं की फसल मंडी में लाने के लिए एस एम एस किया गया तो उनके द्वारा किए गए दावे भी फेल होते नज़र आए। चूंकि उक्त सवाल के जवाब में उन्होंने बताया कि विभाग द्वारा प्रदत उन्हें उनकी आई डी पर अभी तक किसी भी किसान का नाम नहीं दर्शाया हुआ है। उनके पास अनेकों किसान अपना एस एम एस लेकर आए है लेकिन उनके पास इस बात का कोई रिकॉर्ड नहीं है कि कौन से किसान को उनके विभाग द्वारा यह एस एम एस किया गया है। इस प्रकार गेहूं की खरीद के प्रथम दिन मेरी फसल मेरा ब्यौरा योजना की योजना भी विफल होती नजर आई।
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