गुंडों को तो हाथरस में पकड़ नहीं पाए, राहुल गांधी की यात्रा को गैर कानूनी बताते हैं भाजपा वाले: किरण

Edited By vinod kumar, Updated: 05 Oct, 2020 12:10 PM

kiran chaudhary attacked bjp

कांग्रेस की दिग्गज नेता व विधायक किरण चौधरी ने कहा है की राहुल गांधी शांतिप्रिय ट्रैक्टर यात्रा कर रहे हैं। भाजपा सरकार पूर्णतया बौखलाई पड़ी है, क्योंकि भाजपा सरकार को पता है की यह तीनों कृषि कानून गलत पास किए गए हैं। यह पूंजीपतियों को फायदा पहुंचाना...

चंडीगढ़ (धरणी): कांग्रेस की दिग्गज नेता व विधायक किरण चौधरी ने कहा है की राहुल गांधी शांतिप्रिय ट्रैक्टर यात्रा कर रहे हैं। भाजपा सरकार पूर्णतया बौखलाई पड़ी है, क्योंकि भाजपा सरकार को पता है की यह तीनों कृषि कानून गलत पास किए गए हैं। यह पूंजीपतियों को फायदा पहुंचाना चाहते हैं। किसान इनके बिलकुल खिलाफ हो गए हैं। क्योंकि किसानों को तो इन्होंने बर्बाद कर ही दिया है।

इन्हें इतने तगड़े रिएक्शन की उम्मीद नहीं थी। कभी कह रहे हैं की राहुल को आने नहीं देंगे, कभी कह रहें हैं की हम रोकेंगे। प्रजातंत्र देश में तानाशाही फरमान नहीं चलते। भाजपा के मंत्रियों के खुद के काफिले जा रहे हैं, उन पर तो कोई कानून लागू नहीं होता। गुंडों को तो हाथरस में पकड़ नहीं पाए, राहुल गांधी की शांतिप्रिय ट्रैक्टर यात्रा को गैर कानूनी बताते हैं भाजपा वाले।

प्रस्तुत है किरण चौधरी से हुई एक्सक्ल्यूसिव बातचीत के प्रमुख अंश-

प्रश्न-
राहुल गांधी के दौरे को लेकर भाजपा का कहना है की कानून हाथ में नहीं लेने दिया जाएगा ?
उत्तर- राहुल गांधी शांतिप्रिय ट्रैक्टर यात्रा कर रहे हैं। भाजपा सरकार पूर्णतया बौखलाई पड़ी है। क्योंकि भाजपा सरकार को पता है की यह तीनों कृषि कानून गलत पास किए गए हैं। यह पूंजीपतियों को फायदा पहुंचाना चाहतें हैं। किसान इनके बिलकुल खिलाफ हो गए हैं, क्योंकि किसानों को तो इन्होंने बर्बाद कर ही दिया है। इन्हें इतने तगड़े रिएक्शन की उम्मीद नहीं थी। कभी कह रहे हैं की राहुल को आने नहीं देंगे, कभी कह रहे हैं की हम रोकेंगे। प्रजातंत्र देश में तानाशाही फरमान नहीं चलते। भाजपा के मंत्रियों के खुद के काफिले जा रहे हैं , उन पर तो कोई कानून लागू नहीं होता।

प्रश्न- राहुल गांधी का हरियाणा में आना कैसे लाभकारी रहेगा ?
उत्तर- किसानों की लड़ाई राहुल गांधी ने संभाल ली है। जमीन अधिग्रहण का कानून जब भाजपा ने लागु करना चाहा था तो राहुल ने जो आंदोलन छेड़ा, भाजपा को घुटने टेकने पड़े थे। यह कानून भी इन्हें वापिस लेने ही पड़ेंगे।

प्रश्न- राहुल के दौरे को लेकर सत्ता पक्ष कानून व्यवस्था की बात कह रही है ?
उत्तर- राहुल शांतिप्रिय तरीके से ट्रैक्टर रैली निकाल किसानों को समर्थन दे रहे हैं। कानून व्यवस्था का इसमें कोई मुद्दा ही नहीं है। इनसे हाथरस जैसी वारदातों में शामिल गुंडे तो पकड़े नहीं जाते। बेटियों की सरे आम जिंदगियां तबाह हो रही हैं। हर तीसरे दिन हरियाणा में रेप हो रहे हैं। राहुल गांधी की शांतिप्रिय ट्रैक्टर यात्रा को गैरकानूनी बताते हैं भाजपा वाले।

प्रश्न- भाजपा प्रदेशाध्यक्ष ओम प्रकाश धनखड़ राहुल गांधी के हरियाणा आगमन पर उनके जीजा रॉबर्ट वाड्रा पर निशाना साध रहे हैं ?
उत्तर- राजनैतिक तौर पर यह रॉबर्ट वाड्रा पर निशाना साध रहे हैं। पिछले 6 साल से भाजपा सत्ता में है, अगर कोई ऐसी बात होती तो क्या यह बक्शते। झूठ तो किसी के खिलाफ भी बोला जा सकता है। झूठ की फितरत इनकी ट्रेनिंग का पार्ट है। जुमले देकर ध्यान बड़काते रहो। अभी यह डरे हुए हैं। क्योंकि बरोदा में उपचुनाव है।

प्रश्न- तीन कृषि कानूनों पर आपकी मांग क्या है ?
उत्तर- केंद्र सरकार पर न्यूनतम समर्थन मूल्य पर फसल खरीद व भुगतान गारंटी, एमएसपी से कम रेट पर फसल खरीद को दंडनीय अपराध बनाने का कानून बनाने के लिए संघर्ष करेंगे, फसलों का एमएसपी स्वामीनाथन के फार्मूले C2+50% पर निर्धारित हो, हर प्रदेश की सरकार को यह अधिकार है कि वह अपने प्रदेश में उपरोक्त कानून लागू कर सकते हैं, अगर हरियाणा सरकार यह काम करती है।

प्रश्न- तीनों कानूनों का विरोध क्यों ?
उत्तर- तीनों कानून गैरजरूरी, कॉरपोरेट, डब्ल्यूटीओ, आरइसीपी (रीजनल इकनॉमिक कॉम्प्रिहेंसिव पार्टनरशिप) समझौता, बहुराष्ट्रीय कंपनियों, विकसित देशों के दबाव में अनैतिक तरीके से लाए गए हैं, देश के किसानों व उनके प्रतिनिधियों नेकभी इस तरीके के कानून की मांग नहीं की। सरकार विदेशों से काला धन तो लेकर नहीं आ सकी, मगर काले कानून जरूर लागू हो रहे हैं। जब से हरियाणा में भाजपा की सरकार बनी है यह 12 वां फसल खरीद सीजन चल रहा है, यह अडानी व अम्बानी को लाभ देने वाले कानून हैं। जिस तरीके से जियो ने बीएसएनएल को खत्म कर दिया, यह तीनों कानून खेती और किसानों की जमीनों का निजीकरण कर देंगे, गरीब और अमीर के बीच की खाई और गहरी होगी, यह तीनों कानून हरियाणा व पंजाब के भूगोल, मंडी करण कानून, खेती की परिस्थितियों, आर्थिक स्थिति, सामाजिक ढांचे के विपरीत हैं।

प्रश्न- अकाली दल के भाजपा से अलग होने पर क्या कहेंगें ?
उत्तर- पंजाब के चुनावों को डेढ़ साल का समय बचा है। पंजाब व हरियाणा कृषि प्रधान राज्य हैं। किसानों के खिलाफ जाकर राजनीतिक दल इन प्रांतों में राजनीति नहीं कर सकता। अकाली दल यह भली भांती जानता है। हरियाणा में भी आने वाले दिनों में यही होगा।

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