हरियाणा में जमकर हुई बारिश और ओलावृष्टि, किसानों के अरमानों पर फिरा पानी

Edited By vinod kumar, Updated: 07 Mar, 2020 06:50 PM

heavy rain and hail in haryana

पश्चिमी विक्षोभ के सक्रिय रहने से हरियाणा के कई जिलों में लगातार बारिश और ओलावृष्टि से लाखों हेक्टेयर में लगी सरसों, गेहूं और सब्जी की फसलों को काफी नुकसान हुआ। मौसम के इस तेवर से किसानों के बंफर पैदावार के सपने बिखर गए हैं।

पानीपत/सोनीपत/करनाल/पलवल(ब्यूरो): पश्चिमी विक्षोभ के सक्रिय रहने से हरियाणा के कई जिलों में लगातार बारिश और ओलावृष्टि से लाखों हेक्टेयर में लगी सरसों, गेहूं और सब्जी की फसलों को काफी नुकसान हुआ। मौसम के इस तेवर से किसानों के बंफर पैदावार के सपने बिखर गए हैं। 

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भारी ओलावृष्टि से सैकड़ों किसानों की गेहूं और सरसों की फसल बर्बाद
सोनीपत के राई और खरखोदा विधानसभा के गांव नाहरी व आसपास के क्षेत्रों में हुई भारी ओलावृष्टि की वजह से सैकड़ों किसानों की खेतों में खड़ी गेहूं और सरसों की फसल बर्बाद हो गई है। अधिकतर किसानों ने तो इस बर्बादी को देखकर अपने घरों में खाना भी नहीं खाया है।किसानों ने हरियाणा सरकार से मांग की है कि डीसी के माध्यम से तत्काल गिरदावरी करवाकर उन्हें मुआवजा देकर राहत प्रदान करें। ताकि उनके गरीब परिवार का गुजारा हो सके।

वहीं नुकसान के बाद राई से विधायक मोहनलाल ने गांव का दौरा किया और बताया कि ओलावृष्टि और बारिश से किसानों की फसलों का नुकसान हुआ है। उसकी जल्द से जल्द गिरदावरी करवाकर मुआवजा देने का काम सरकार द्वारा किया जाएगा।

बेमौसम बारिश ने किसानों के होली के त्योहार के रंग को किया फीका 
बेमौसम बारिश ने किसानों के होली के त्योहार के रंग को फीका कर दिया है। इस बारिश के बाद किसान खून के आंसू रो रहा है, क्योंकि जो फसल 25- 30 दिन बाद कटनी थी, वो बर्बाद हो चुकी है। प्रदेश में पिछले 3 दिनों से तेज बारिश हो रही है, कहीं ओलावृष्टि हो रही हैं कही तेज हवाएं चल रही हैं, जिसके चलते जो गेंहू की फसल है वो गिर गई है। 

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करनाल में स्थित भारतीय गेंहू एवं जौ अनुसंधान संसाधन के निदेशक ज्ञानेंद्र प्रताप सिंह ने कहा कि सबसे ज्यादा नुकसान उन इलाकों में हुआ है जहां पर ओलावृष्टि हुई है, खासकर सबसे ज्यादा नुकसान सरसों की फसल को हुआ है। उन्होंने बताया कि रोहतक और रेवाड़ी में ओलावृष्टि का खामियाजा किसानों को भुगतना पड़ सकता है। वहीं करनाल में किसानों को ज्यादा नुकसान नहीं हुआ है क्योंकि उनका मानना है कि यहां हुई बारिश और तेज हवाओं से महज 5 प्रतिशत तक नुकसान की संभावना है। 

पानीपत में भी फसल हुई बर्बाद
प्रदेश के साथ पानीपत में भी बैमोसम बरसात ने किसानों के अरमानों पर पानी फेर दिया। किसानो की हजारों एकड़ फसल बरसात के साथ आए तुफान के कारण जमीन पर लेट गयी। जिससे किसान काफी परेशान है। 

बर्बाद हुई फसलों की स्पेशल गिरदावरी को लेकर एक आपात बैठक का आयोजन 
पानीपत किसान भवन में अखिल भारतीय किसान कांग्रेस के राष्ट्रीय कोऑर्डिनेटर सुरेंद्र दहिया ने हरियाणा सरकार से बेमौसमी बारिश और ओलावृष्टि से बर्बाद हुई फसलों की स्पेशल गिरदावरी को लेकर एक आपात बैठक का आयोजन किया। बैठक में मीडिया से रूबरू होते हुए सरकार व प्रशासन से साफ नियत से गिरदावरी कर उचित मुआवजा देने की मांग की। 

खेतों में खड़े हुए पानी को निकालने का करें प्रयास: डा. महावीर
पलवल में हुई दो दिन बारिश से गेहूं की फसल में भारी नुकसान हुआ है। तेज आंधी और बारिश के चलते खेतों में लह लहाती गेहूं की फसल जमीन पर लेट गई। जिसके चलते फसल के उत्पादन पर काफी प्रभाव पड़ेगा। कृषि विशेषज्ञ डा. महावीर मलिक ने बताया कि जिले में पलवल ब्लॉक में 95 एमएम बारिश,हसनपुर में 67 एमएम व हथीन में 61 एमएम के पास और होडल में 94  एम.एम बारिश दर्ज की गई है। उन्होंने किसानों को सलाह देते हुए कहा कि खेतों में खड़े हुए पानी को निकालने का प्रयास करें। मौसम साफ होने के बाद फसल हवा के चलने से दोबारा उठने का प्रयास करेगी।

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