ACB की दबिश में जोर नही, 11 करोड़ के सफाई घोटाले में 20 दिन बाद भी आरोपी गिरफ्त से बाहर:

Edited By Isha, Updated: 19 Jun, 2024 12:01 PM

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जिले के बहु चर्चित 11 करोड़ रूपये के सफाई घोटाले में अब तक सात आरोपियों को गिरफ्तार किया जा चुका है। लेकिन आठ आरोपित अभी भी विजिलेंस की गिरफ्त से बाहर हैं। इनमें मुख्य आरोपित जिला परिषद के तत्कालीन डिप्टी सी.ई.ओ जसविंदर सिंह के

कैथल (जयपाल रसूलपुर): जिले के बहु चर्चित 11 करोड़ रूपये के सफाई घोटाले में अब तक सात आरोपियों को गिरफ्तार किया जा चुका है। लेकिन आठ आरोपित अभी भी विजिलेंस की गिरफ्त से बाहर हैं। इनमें मुख्य आरोपित जिला परिषद के तत्कालीन डिप्टी सी.ई.ओ जसविंदर सिंह के अलावा दो जे.ई व पांच ठेकेदारों के नाम शामिल हैं ,जो फरार चल रहे हैं। जिनकी गिरफ्तारी को लेकर टीम जगह-जगह रेड कर रही हैं, 20 दिन बीत जाने के बाद भी अभी तक भी टीम को कोई सफलता नहीं मिली पाई है। विश्वसनीय सूत्रों से मिली जानकारी अनुसार ज्यादातर आरोपी पहाड़ों की वादियों में फरारी काट रहे हैं। जिनकी लोकेशन ट्रेस करने के लिए विजिलेंस साइबर टीम की मदद ले रही है। बताया जा रहा है कि कई आरोपी गिरफ्तारी के डर से विदेश भागने की फ़िराक में हैं। इसको लेकर भी विजिलेंस टीम आरोपियों की एल.ओ.सी जारी करवाने की कार्रवाई में जुटी हुई है। जिसके बाद कोई भी आरोपी विदेश नही भाग सकता, अगर वह ऐसा करेगा तो उसे पासपोर्ट पर ही दबोच लिया जाएगा।  

 

क्या होती है एल.ओ.सी ?
अपराधिक मामला दर्ज होने के जब कोई आरोपी गिरफ्तारी से बचने के लिए विदेश भागने की फ़िराक में होता है, तो पुलिस अधीक्षक द्वारा सम्बंधित पासपोर्ट कार्यालय से उसकी एल.ओ.सी जारी करवाई जाती है। इसमें पहले पुलिस अपने स्तर पर आरोपी के पासपोर्ट की जानकारी एकत्रित करती है। यदि जानकारी नही मिले तो फिर पुलिस संबंधित पासपोर्ट कार्यालय को आरोपी के नाम व जन्मतिथि सहित पूर्ण विवरण भेजकर इसकी जानकारी मांगती  है। इसके बाद एसपी कार्यालय द्वारा पासपोर्ट कार्यालय को पत्राचार करके आरोपी की एल.ओ.सी जारी करवाई जाती है। जब आरोपी देश के किसी भी एयरपोर्ट से विदेश की यात्रा करेगा तो वह उसी समय पकड़ा जाएगा।

 

     

ये है पूरा मामला
बता दें कि वर्ष 2021 में आरोपियों ने फर्म मालिकों के साथ मिलकर सात करोड़ रुपये का गोलमाल किया था। आरोपियों ने गांव में सफाई करने की बजाए फर्जी तरीके से कागजों में ही सफाई दिखा दी थी। जब इस मामले में का गांव के सरपंचों व ग्रामीणों को पता चला तो इसकी जांच के लिए एक शिकायत तत्कालीन उपायुक्त को दी गई थी। जिले के कई नेताओं ने भी यह मामला उठाया था। इसके बाद इसकी जांच एंटी करप्शन ब्यूरो की टीम को दी गई। टीम ने करीब 20 दिन पहले इस मामले में जिला परिषद कैथल में एसडीओ रहे नवीन कुमार, जेई जसबीर सिंह सहित लेखाकार व फर्म संचालकों को गिरफ्तार किया था। आरोपियों से 50 लाख रुपये की रिकवरी की थी, लेकिन अभी तक मुख्य आरोपी सहित सात अन्य आरोपियों की गिरफ्तारी नहीं हो पाई है।

 

कैथल एंटी करप्शन ब्यूरो यूनिट के इंचार्ज इंस्पेक्टर महेंद्र सिंह ने बताया कि जिला परिषद सफाई घोटाला में अब तक सात आरोपियों की गिरफ्तारी हुई है। आठ अन्य की गिरफ्तारी को लेकर टीमें लगातार रेड कर रही हैं। जल्द ही आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया जाएगा।

 

 

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