Edited By Deepak Paul, Updated: 09 Nov, 2018 10:32 AM
मानव संसाधन विकास मंत्रालय ने सभी राज्यों के शिक्षा विभाग को शहद को मिड-डे मील का हिस्सा बनाने के लिए कहा है। केंद्र के निर्देश को ध्यान में रख उत्तराखंड मिड-डे मील में शहद को शामिल कर चुका है जबकि हरियाणा तैयारी में है।हरियाणा के हॉॢटकल्चर...
चंडीगढ़(अर्चना): मानव संसाधन विकास मंत्रालय ने सभी राज्यों के शिक्षा विभाग को शहद को मिड-डे मील का हिस्सा बनाने के लिए कहा है। केंद्र के निर्देश को ध्यान में रख उत्तराखंड मिड-डे मील में शहद को शामिल कर चुका है जबकि हरियाणा तैयारी में है।हरियाणा के हॉॢटकल्चर डिपार्टमैंट की हरियाणा प्रोमोटिंग फार्मर हनी प्रोड्यूस ऑर्गेनाइजेशन के बैनर तले काम करने वाली अतुल्या बी मास्टर प्रोडक्शन कंपनी लिमिटेड ने शिक्षा विभाग को प्रस्ताव सौंप मिड-डे मील के तहत शहद सप्लाई करने की इजाजत मांगी है। सूत्रों अनुसार शिक्षा विभाग के अधिकारियों ने केंद्र के निर्देश को ध्यान में रख अनौपचारिक तौर पर शहद को मिड-डे मील में शामिल करने की हामी भर दी है।
मधुमक्खी पालन को बढ़ावा देने के लिए राज्य के हॉॢटकल्चर डिपार्टमैंट ने हाल ही में हनी पार्लर की शुरुआत भी की है, जहां 11 किस्म का शुद्ध शहद बेचा जा रहा है। इसमें शीशम, तुलसी, अजवायन, बबूल, सफेदा, सरसों, जामुन, लीची, बेरी, विभिन्न फूलों के रस से तैयार शहद को बेचा जा रहा है। अतुल्या बी मास्टर प्रोडक्शन कंपनी लिमिटेड के डायरैक्टर अनिल सिंह सिंधु का कहना है कि हरियाणा फार्मर प्रोड्यूसर ऑर्गेनाइजेशन के साथ 750 शेयर होल्डर्स और 1250 मधुमक्खी पालक जुड़ चुके हैं। उनकी कंपनी लोगों को शुद्ध शहद देना चाहती है। इसी उद्देश्य के साथ न सिर्फ हरियाणा में हनी पार्लर की शुरुआत की है, बल्कि स्कूलों में मिड-डे मील में भी शहद को शामिल करने का फैसला किया है।
हरियाणा हॉर्टिकल्चर डिपार्टमैंट के फार्मर प्रोड्यूसर ऑर्गेनाइजेशन के कंसल्टैंट दीपक कुमार का कहना है कि शहद ऐसा पोषक पदार्थ है, जिसमें शून्य कैलोरिज होती है, लेकिन विभिन्न विटामिन, मिनरल्स, अमीनो एसिड, एंटी ओक्सिडैंट्स होते हैं। साथ ही बैड कोलैस्ट्रोल को कम करने की क्षमता भी होती है।