सड़क की खामियों के चलते लगातार हो रहे हादसे, जिले में 7 दिनों में हुई इतनी मौतें

Edited By Manisha rana, Updated: 11 Mar, 2021 08:44 AM

road faults there are frequent accidents so many deaths

जिले में यातायात नियमों के प्रति लापरवाही भारी पड़ती जा रही है। सड़क की खामियों के चलते हादसे लगातार बढ़ते जा रहे हैं। वर्ष 2020 में प्रदेश में हुए 503 सड़क दुर्घटनाओं में 234 लोगों की मौत हो गई। यहां तक की मार्च 2021 के ...

कुरुक्षेत्र : जिले में यातायात नियमों के प्रति लापरवाही भारी पड़ती जा रही है। सड़क की खामियों के चलते हादसे लगातार बढ़ते जा रहे हैं। वर्ष 2020 में प्रदेश में हुए 503 सड़क दुर्घटनाओं में 234 लोगों की मौत हो गई। यहां तक की मार्च 2021 के पहले सप्ताह में ही जिला में सड़क हादसों में 7 व्यक्ति मौत का शिकार हो गए। पूरे प्रदेश में पिछले वर्ष 9431 सड़क हादसे हुए, जिनमें 4507 लोगों की मौत हई और 7659 लोग घायल हो गए। सड़क हादसे कम होने का नाम नहीं ले रहे। भले ही प्रदेश में 6 माह में सड़क हादसों में 3 फीसदी की कमी आई है लेकिन सड़क हादसों में सोचने का विषय ये है कि 34 फीसदी युवा इन हादसों का शिकार हो रहे हैं जबकि सायं 4 से रात 12 बजे तक सड़क हादसे अधिक होते हैं।

वहीं पुलिस अधिकारियों का कहना है कि जहां भी हादसा होगा, वहीं पर पी.सी.आर. पहुंचेगी और साइन बोर्ड 150 मीटर पहले रखा जाएगा ताकि आने वाले वाहन चालकों को रोड के बीच में खड़े वाहन का पता चल सके। यहीं नहीं जल्द से जल्द वाहन को सड़क से हटवाया जाएगा। पुलिस की सभी पी.सी.आर. में अब साइन बोर्ड रखे जाएंगे ताकि रोड के बीच में वाहन खराब होने पर तुरंत इन्हें 150 मीटर पहले रखा जा सके। प्रदेश में वर्ष 2018 में जहां 6 माह में 5793 केस दर्ज हुए थे। अब कि बार 5491 केस दर्ज किए गए हैं। जो पिछले साल के मुकाबले 302 कम है। जहां पिछले साल इसी अवधि में 2641 लोगों की सडक़ हादसों में मौत हो गई थी, अब कि बार यह आंकड़ा 2532 तक पहुंचा है। जो पिछले साल से 109 कम है।

वहीं पिछले साल 6 महीने में 5082 लोग घायल हुए थे अब कि बार 4638 लोग घायल हुए हैं। जो पिछले से 444 कम है। पुलिस की ओर से जुटाए गए आंकड़ों का यदि आंकलन करें तो हर 2 घंटे में 2 हादसे और एक मौत होती रही है। यह हालात तब है जब 2020 कोरोना काल का साल रहा और लंबे समय तक लोग घरों में कैद रहे। रोड सेफ्टी विशेषज्ञोंं का कहना है कि ट्रेफिक लाइटें लगाकर स्मार्ट बनाया  जा रहा है। पुलिस की ओर से हादसों और मौत पर की गई रिसर्च में सामने आया कि ड्राइवर रोड पर सही तरीके से नहीं चलते। 70 प्रतिशत हादसों में ओवरस्पीड और नशा भी प्रमुख कारण है। इसमें ड्राइविंग के वक्त मोबाइल का उपयोग भी हादसों की तीसरी बड़ी वजह मानी जा रही है। पुलिस का कहना है कि यह ऐसे कारण है जिसे रोका न जा सके लेकिन ड्राइवर मानते नहीं।

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