Edited By Punjab Kesari, Updated: 22 Jan, 2018 03:59 PM
दिल्ली की तरह हरियाणा के 4 विधायकों की सदस्यता पर तलवार लटक सकती है। जिस तरह दिल्ली के 20 विधायक ऑफिस एंड प्रॉफिट के मामले में फंसे हैं उसी आधार पर हरियाणा के चार विधायक बड़खल की विधायिका सीमा त्रिखा, हिसार से कमल गुप्ता, असंध से बख्शीश सिंह और...
फरीदाबाद/ यमुनानगर(अनिल/सुमित): दिल्ली की तरह हरियाणा के 4 विधायकों की सदस्यता पर तलवार लटक सकती है। जिस तरह दिल्ली के 20 विधायक ऑफिस एंड प्रॉफिट के मामले में फंसे हैं उसी आधार पर हरियाणा के चार विधायक बड़खल की विधायिका सीमा त्रिखा, हिसार से कमल गुप्ता, असंध से बख्शीश सिंह और रादौर से श्याम सिंह राणा की भी सदस्यता जा सकती है। इसके लिए एडवोकेट जगमोहन भट्टी ने हाईकोर्ट में याचिका दायर की है। जिस पर श्याम सिंह और सीमा त्रिखा ने अपनी-अपनी प्रतिक्रिया दी है।
मुख्य संसदीय सचिव रह चुकी फरीदाबाद बडख़ल की विधायिका सीमा त्रिखा ने कहा कि हरियाणा का मामला दिल्ली के मामले से अलग है। हरियाणा का कोई भी विधायक अफिस एंड प्रोफिट के दायरे में नहीं आता हैं।
वहीं रादौर से विधायक और सीपीएस के पद पर रहे श्याम सिंह राणा ने कहा कि उन्होंने सीपीएस रहते हुए पैसे का कोई दुरुपयोग नहीं किया ना कोई ऐसाविशेषकर खर्चा किया है। जो विधायक को तनख्वाह मिलती है तकरीबन वैसा ही काम किया। इसको लेकर कानून की दृष्टि से कहीं कोई बात करने की आई तो हम कानून की लड़ाई लड़ेंगे। उन्होंने जगमोहन भट्टी के बारे में कहा कि याचिकाकर्ता की जो योजना है वह अक्सर ऐसा करता रहता है। उस पर हम टिप्पणी नहीं कर सकते। कोर्ट में कोई भी जा सकता है कोई भी काम कर सकता है लेकिन वह विशेषकर ऐसे ही काम करता है। उन्होंने कहा, सरकार के बहुत सारे काम होते हैं उन कामों का लोड कम हो और जनता की सेवा हो, सरकार का काम ठीक चले इसलिए मुख्यमंत्री ने हमें सीपीएस बनाया था।
बता दें कि हरियाणा के 4 विधायकों की सदस्यता रद्द करने की मांग को लेकर वकील जगमोहन भट्टी ने हाईकोर्ट में याचिका दाखिल की है। ये चारों पूर्व मुख्य संसदीय सचिव रह चुके हैं। 5 जुलाई 2017 को हाइकोर्ट ने कमल गुप्ता, बख्शीश सिंह विर्क, सीमा त्रिखा और श्याम सिंह राणा को सीपीएस पद से हटा दिया गया था। अब याचिकर्ता वकील का कहना है कि जिस तरह से दिल्ली में आप विधायकों की सदयता रद्द की गई उसी तर्ज पर हरियाणा के इन 4 विधायकों की सदस्यता भी रद्द की जाए।