जींद में अब तक उपलब्ध नहीं हो पाए फास्ट टैग

Edited By vinod kumar, Updated: 25 Nov, 2019 01:06 PM

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1 दिसम्बर से टोल प्लाजा पर फास्ट टैग अनिवार्य किए जाने की डैडलाइन में एक सप्ताह भी नहीं बचा है और जिले के हजारों लोगों के सामने समस्या यह खड़ी हो गई है कि अभी तक जींद में फास्ट टैग उपलब्ध ही नहीं हो पाए हैं।

जींद(जसमेर): 1 दिसम्बर से टोल प्लाजा पर फास्ट टैग अनिवार्य किए जाने की डैडलाइन में एक सप्ताह भी नहीं बचा है और जिले के हजारों लोगों के सामने समस्या यह खड़ी हो गई है कि अभी तक जींद में फास्ट टैग उपलब्ध ही नहीं हो पाए हैं। 

परिवहन विभाग से लेकर किसी भी बैंक में फास्ट टैग उपलब्ध नहीं हैं। नतीजा यह है कि जिले में वाहनों के मालिकों और चालकों को यह ङ्क्षचता सताने लगी है कि 1 दिसम्बर से वह अपने वाहनों को टोल प्लाजा से कैसे निकाल पाएंगे। स्टेट बैंक ऑफ इंडिया जरूर सोमवार से फास्ट टैग के लिए खाताधारकों से आवेदन लेना शुरू करने जा रहा है। परिवहन मंत्रालय ने एक दिसम्बर से तमाम टोल प्लाजा पर फास्ट टैग अनिवार्य कर दिया है। बिना फास्ट टैग वाले वाहनों को फास्ट टैग वाली लेन में नहीं लगने दिया जाएगा।

अगर कोई वाहन बिना फास्ट टैग के फास्ट टैग वाली लेन में एंट्री करता है तो उसे डबल टोल टैक्स देना होगा। ऐसे में बिना फास्ट टैग वाली केवल एक लेन होगी और उस पर किलोमीटर लम्बी लाइन लगना तय माना जा रहा है। जींद में हजारों कमॢशयल और पर्सनल वाहन लोगों के पास हैं। इन वाहनों को हर रोज किसी न किसी नैशनल हाईवे पर टोल प्लाजा से गुजरना होता है। जींद से गुरुग्राम और दिल्ली जाने से लेकर हिसार, चंडीगढ़, कहीं भी जाना हो, टोल बैरियर जरूर आते हैं। फास्ट टैग के लिए परिवहन मंत्रालय द्वारा निर्धारित की गई डैडलाइन एक दिसम्बर है और इसमें अब महज एक सप्ताह का समय भी नहीं बचा है और जींद में हालत यह है कि परिवहन विभाग से लेकर किसी भी बैंक के पास अभी तक फास्ट टैग उपलब्ध नहीं हैं।

केंद्रीय परिवहन मंत्री नितिन गडकरी टी.वी. और अखबारों में भले ही यह दावा कर रहे हैं कि एक दिसम्बर तक फास्ट टैग लेने वाले वाहन चालकों से सिक्योरिटी नहीं ली जाएगी और आर.टी.ए. सचिव कार्यालयों से लेकर बैंकों में फास्ट टैग उपलब्ध करवा दिए गए हैं जबकि सच्चाई यह है कि जींद में फिलहाल फास्ट टैग कहीं भी उपलब्ध नहीं हैं। जींद के आर.टी.ए. सचिव कार्यालय में फास्ट टैग को लेकर सम्पर्क किया गया तो वहां से जवाब मिला कि अभी तक इस कार्यालय में वाहनों के लिए फास्ट टैग नहीं आए हैं। आर.टी.ए. सचिव कार्यालय को तो इस बात की भी जानकारी नहीं है कि इस कार्यालय को फास्ट टैग देने का कोई फैसला परिवहन मंत्रालय ने लिया है।   

निजी कम्पनियों ने वाहन चालकों से पैसा वसूलना किया शुरू 
फास्ट टैग को एक दिसम्बर से अनिवार्य कर दिए जाने के चलते जींद के अनेक वाहन चालकों और मालिकों ने हिसार के मय्यड़, बरवाला, गुरुग्राम के रास्ते में रोहतक के पास के डीघल, दिल्ली जाने के लिए सांपला के पास के टोल प्लाजा पर निजी कम्पनियों से फास्ट टैग लेना शुरू कर दिया है। इसके लिए निजी कम्पनियां 200 रुपए सिक्योरिटी के रूप में वसूल कर रही हैं और इस पर 150 रुपए का कैश बैक दिए जाने की बात कह रही हैं।

जींद के वाहन मालिक रवि, राकेश बांगड़, अश्वनी, महेंद्र, रमेश सिहाग, कुलदीप पिंडारा आदि ने कहा कि निजी कम्पनियों को अब परिवहन मंत्रालय ने फास्ट टैग के नाम पर लोगों से मोटी वसूली करने की इजाजत दे दी है। फास्ट टैग समय रहते जींद में आर.टी.ए. सचिव कार्यालय और बैंकों में उपलब्ध करवा दिए जाते तो लोग निजी कम्पनियों को फास्ट टैग के लिए सिक्योरिटी के नाम पर 200 रुपए प्रति वाहन देने से बच जाते। इन वाहन मालिकों ने केंद्र सरकार से मांग की है कि फास्ट टैग आर.टी.ए. सचिव कार्यालयों और तमाम बैंकों में मुहैया करवाए जाएं, ताकि वाहन मालिक निजी कम्पनयों के हाथों लुटने से बच जाएं। 

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