Edited By Pawan Kumar Sethi, Updated: 20 Apr, 2024 05:47 PM
गांव धनवापुर में देर रात को हुए दो गुटों में हुए खूनी संघर्ष का अब सीसीटीवी सामने आया है। पूरे घटनाक्रम के पीछे न केवल पानी सप्लाई के व्यापार को लेकर रंजिश सामने आई है बल्कि चुनावी रंजिश भी सामने आई है। मामला तीन दिन पहले अत्याधिक भड़क गया था जब...
गुड़गांव, (ब्यूरो): गांव धनवापुर में देर रात को हुए दो गुटों में हुए खूनी संघर्ष का अब सीसीटीवी सामने आया है। पूरे घटनाक्रम के पीछे न केवल पानी सप्लाई के व्यापार को लेकर रंजिश सामने आई है बल्कि चुनावी रंजिश भी सामने आई है। मामला तीन दिन पहले अत्याधिक भड़क गया था जब दिल्ली पुलिस ने गैंगस्टर तोता और उसके भाई को पूछताछ के लिए बुलाया।
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जब सुनील उर्फ तोता व नरेंद्र दिल्ली गए तो पता लगा कि उन दोनों को मारने की सुपारी दो युवकों को उनके रिश्तेदारों ने ही दी थी। पकड़े गए आरोपियों के कब्जे से पुलिस ने अवैध हथियार भी बरामद किए थे। सुनील उर्फ तोता के परिजनों का कहना है कि इस बारे में वह गुड़गांव पुलिस के राजेंद्रा पार्क थाने में भी शिकायत लेकर गए थे, लेकिन पुलिस ने यह कहकर केस दर्ज करने से मना कर दिया कि अभी कोई वारदात नहीं हुई है। यह भी आरोप है कि एक दिन पहले दूसरे पक्ष ने सुनील उर्फ तोता के घर के पिछली तरफ लगे सीसीटीवी कैमरे का मुंह घुमा दिया ताकि उनके द्वारा रची जा रही साजिश कैमरे में कैद न हो सके। यही कारण है कि दूसरे पक्ष के सुक्कू नामक युवक ने उन पर गोलियां चलाई।
सीसीटीवी कैमरे में साफ दिखाई दे रहा है कि दो व्यक्ति थार गाड़ी के पास खड़े हैं। इसी दौरान एक अन्य गाड़ी आती है जिसमें ये महिलाएं उतरकर अपने घर के अंदर चली जाती हैं जबकि एक व्यक्ति उतरकर थार गाड़ी के पास खड़े व्यक्ति के पास जाता है और उससे मारपीट करने लगता है। इसी के बाद यहां मारपीट शुरू हो जाती है और एक दूसरे पर पथराव करने के साथ ही गाड़ियों से एक दूसरे पक्ष को कुचलने का प्रयास किया जाता है। इसी मारपीट, पथराव और गाड़ियों से कुचलने के प्रयास के दौरान ही एक व्यक्ति हथियार लेकर आता है और फायरिंग करने लगता है। गनीमत यह रही कि इस घटना में किसी को भी गोली नहीं लगी। हालांकि मारपीट और पथराव में पांच लोग घायल जरूर हुए हैं जिन्हें अस्पताल में भर्ती कराया गया है।
सुनील उर्फ तोता के परिवार की सदस्य सोनिया की मानें तो इस मारपीट की नींव पांच साल पहले से ही रखी जा चुकी है जब चुनाव के दौरान उनके जेठ को चुनाव की टिकट मिली थी और वह चुनाव जीतकर पार्षद बने थे। इस बात से उनके पड़ोस में रहने वाले रिश्तेदार नाखुश थे क्योंकि वह खुद चुनाव लड़ना चाहते थे इस बात को लेकर उनके बीच कहासुनी व झगड़ा भी हुआ था, लेकिन मामला शांत था, लेकिन कुछ समय पहले से यह दोबारा हरकत करने लगे थे। सोनिया ने बताया कि उनके रिश्तेदारों के पास कुछ समय पहले जमीन का रुपया आया था जिसके बाद से वह सुनील और नरेंद्र की तरह पानी सप्लाई करने का बिजनेस करना चाहते थे। इसको लेकर वह झगड़ा करने लगे थे जिसके कारण ही वारदात को अंजाम दिया गया। रात को भी उनके घर पर भी फायरिंग की गई है।
मामले में फिलहाल पुलिस ने दोनों पक्षों की शिकायत पर केस दर्ज कर जांच शुरू कर दी है। गांव में शांति व्यवस्था बनाए रखने के लिए पुलिस बल तैनात किया गया है। पुलिस ने सीसीटीवी कैमरे की फुटेज कब्जे में लेकर जांच शुरू कर दी है। जांच में तथ्य सामने आने के बाद ही आगामी कार्रवाई की जाएगी।