Edited By Isha, Updated: 20 Dec, 2019 03:19 PM
केंद्र सरकार भले ही भूपतर्व सैनिकों को लाख सुविधाएं देने की बात कहती हो, परन्तु भूतपूर्व सैनिकों को मैडिकल जैसी मूलभूत सुविधा सही तरीके से उपलब्ध नहीं हो पाती है। यह बात उस समय देखने.....
भिवानी (अशोक भारद्वाज) : केंद्र सरकार भले ही भूपतर्व सैनिकों को लाख सुविधाएं देने की बात कहती हो, परन्तु भूतपूर्व सैनिकों को मैडिकल जैसी मूलभूत सुविधा सही तरीके से उपलब्ध नहीं हो पाती है। यह बात उस समय देखने को मिली, जब भारतीय सेना के भूतपूर्व सैनिक दीपचंद भिवानी की जिला कष्ट निवारण समिति की मीटिंग में अपनी समस्या को लेकर पहुंचे। हरियाणा के श्रम रोजगार मंत्री इस बैठक में लोगों की समस्याएं सुन रहे थे, परन्तु जब उनकी समस्या को नहीं सुना गया तो उन्होंने पत्रकारों की ओर रूख कर भूतपूर्व सैनिकों की समस्याएं सुनाई।
वहीं दीपचंद ने बताया कि भिवानी में भूतपूर्व सैनिकों के ईलाज के लिए एक छोटा अस्पताल किराए की बिल्डिंग में चलता है, परन्तु वहां समुचित ईलाज उपलब्ध नहीं हो पाता। इस सहुलियत की ऐवज में प्रति माह एक हजार रूपये मैडिकल का भी भूतपूर्व सैनिकों की पेंशन से कटता है। उन्होंने मांग की है कि भिवानी में भूतपूर्व सैनिकों को मैडिकल की सुविधा दी जाएं। वे भारतीय सेना से ड्राईवर के पद से रिटायर्ड तथा वे यह भी चाहते है कि जिस प्रकार से कष्ट निवारण समिति की मीटिंग में दरबार लगाकर लोगों की समस्याएं सुनी जाती है, उसी प्रकार दरबार लगाकर भूतपूर्व सैनिकों की समस्याएं भी सुनी जाए।
गौरतलब है कि भिवानी जिला में बड़ी संख्या में भूतपूर्व व वर्तमान सैनिक है, जिनकी समस्याएं रखने के लिए उन्हे हिसार कैंट या दिल्ली कार्यालय में जाना पड़ता है। इसीलिए भिवानी में भूतपूर्व सैनिकों कीे समस्याएं सुनने के लिए दरबार लगाए जाने की मांग की है।