बायोमेट्रिक में फर्जीवाड़ा: नकली अंगूठे से जेल अधीक्षक ने लगाई हाजिरी

Edited By Shivam, Updated: 25 May, 2018 06:50 PM

fraud in biometrics jail superintendent put a fake thumb in attendance

डिजीटल इंडिया को बढ़ावा देने वाली हरियाणा सरकार में बायोमीट्रिक फर्जीवाड़े का मामला सामने आया है, जिसमें पहले पलवल और अब फरीदाबाद में तैनात जेल अधीक्षक द्वारा महीनों तक नकली अंगूठे से बायोमैट्रिक हाजरी लगाई गई। मुख्यमंत्री के उडऩदस्ते ने जांच....

फरीदाबाद(अनिल राठी): डिजीटल इंडिया को बढ़ावा देने वाली हरियाणा सरकार में बायोमीट्रिक फर्जीवाड़े का मामला सामने आया है, जिसमें पहले पलवल और अब फरीदाबाद में तैनात जेल अधीक्षक द्वारा महीनों तक नकली अंगूठे से बायोमैट्रिक हाजरी लगाई गई। मुख्यमंत्री के उडऩदस्ते ने जांच में उक्त अधिकारी को हाजरी में फर्जीवाड़े के आरोप में दोषी करार दिया है।

यह है पूरा मामला
विभागीय सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार आईजी जेल को पूर्व समय के दौरान पलवल तथा वर्तमान में फरीदाबाद में बतौर जेल अधीक्षक तैनात अनिल कुमार के बारे में शिकायत मिली की वह नकली अंगूठे के माध्यम से बायोमैट्रिक में हाजरी लगा रहे हैं और खुद डयूटी टाइम में ही कथित तौर पर प्रोपर्टी डीलर का काम करते हुए अवैध तरीके से संपत्ति अर्जित कर रहे हैं।

जिसके बाद उन्होंने गुरुग्राम स्थित मुख्यमंत्री के उडऩदस्ते के एसपी को इस मामले की जांच के निर्देश जारी किए। एसपी ने यह मामला उडऩदस्तेे के निरीक्षक बिजेंद्र सिंह को इस मामले की जांच सौंपी। उक्त अधिकारी ने जांच रिपोर्ट में कहा है कि अनिल कुमार का कार्यालय जिला कारागार पलवल में स्थित है। वह अपने दैनिक प्रयोग में लाए जा रहे बीएसएनएल के फोन नंबर को बायोमैट्रिक हाजरी के लिए इस्तेमाल करते हैं। इस मामले में एक जनवरी 2017 से 30 अप्रैल 2017 की अवधि तक का रिकार्ड निकलवाया गया।

बनवा रखा है नकली अंगूठा
जांच में पता चला कि जिस समय बायोमैट्रिक से हाजरी लगाई गई, उस समय इस मोबाइल फोन की लोकेशन पलवल जेल न होकर उक्त अधिकारी का निवास या अन्य स्थान रहे हैं। पलवल के जेल अधीक्षक अनिल कुमार ने अपने अंगूठे की नकल तैयार करवा रखी है। जिसका दुरपयोग करते हुए जेल कर्मचारी द्वारा ही उनकी हाजरी लगाई जाती है।

जेल स्टाफ लगाता था हाजिरी
सीएम उडऩदस्ते ने कहा है कि जब वह छापा मारकर सच्चाई जानने की तैयारी में थे तो अनिल कुमार का पलवल से फरीदाबाद में तबादला हो गया। जांच अधिकारी ने तमाम सबूतों के आधार पर उक्त अधिकारी के विरूद्ध हरियाणा सिविल सर्विस सेवाएं दंड एवं अपील के नियम सात के तहत विभागीय कार्रवाई किए जाने की सिफारिश करते हुए कहा है कि जब भी उन्होंने जांच की तो उक्त अधिकारी की फोन लोकेशन जिला जेल फरीदाबाद व अन्य स्थानों पर होती थी जबकि वह तैनात पलवल में थे। उनकी हाजरी पलवल में ही जेल स्टाफ द्वारा लगाई जा रही थी।

सरकार कर रही है बचाव
मुख्यमंत्री के उडऩदस्ते ने पलवल में जेल अधीक्षक के विरूद्ध जांच करके उन्हें दोषी करार देते हुए जनवरी 2018 में अपनी रिपोर्ट दे दी थी लेकिन इस मामले में अभी तक कार्रवाई नहीं हुई है। सूत्रों की मानें तो जेल अधीक्षक की भाजपा के एक वरिष्ठ नेता के साथ करीबी संबंध होने के चलते उनके खिलाफ हुई जांच रिपोर्ट को ठंडे बस्ते में डाल दिया गया है। जिसके चलते रिपोर्ट आने के पांच माह बाद भी कोई कार्रवाई नहीं की गई है।

अवैध संपत्ति मामले की जांच भी अधर में लटकी
पूर्व समय के दौरान पलवल में तैनात रहे वर्तमान में फरीदाबाद के जेल अधीक्षक अनिल कुमार के विरूद्ध मुख्यमंत्री उडऩदस्ते को दो शिकायतें भेजी गई थी। जिनमें से एक हाजरी में फर्जीवाड़ा करने तथा दूसरी अवैध तरीके से संपत्ति अर्जित करने के संदर्भ में थी। कथित तौर पर राजनीतिक दबाव के चलते अवैध संपत्ति अर्जित करने के मामले की जांच भी अब ठंडे बस्ते में चली गई है।

क्या कहते हैं अधिकारी
इस बारे में अनिल राव आईजी सीआईडी का कहना है कि जेल अधीक्षक अनिल कुमार के खिलाफ एक शिकायत मिली थी। शिकायत की जांच गुडग़ांव के एसपी सीएम फ्लाइंग द्वारा की गई है। जांच रिपोर्ट आ चुकी है और उसमें फर्जी तरीके से बायोमेट्रिक हाजिरी लगाए जाने के आरोप हैं। इस मामले में बहुत जल्द सख्त कार्रवाई की जाएगी।

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