Edited By Updated: 06 Sep, 2015 04:02 AM
गांव बिलौना के एक किसान के खेत में शनिवार सुबह अजीबो गरीब घटना के बाद गांव व आसपास के गांवों मे सनसनी फैल गई।
असंध (मोंगिया): गांव बिलौना के एक किसान के खेत में शनिवार सुबह अजीबो गरीब घटना के बाद गांव व आसपास के गांवों मे सनसनी फैल गई। इस घटना के बारे में जिसने भी सुना कौतूहलवश घटनास्थल की ओर दौड़ पड़ा। गांव से करीब 2 किलोमीटर घटनास्थल पर दिनभर लोगों का तांता लगा रहा। जमीन मे 800 फुट गहरे बोरवैल मे 25 हॉर्स पावर की मोटर, 170 फुट लोहे की डिलीवरी पाइप आदि कई फुट हवा में उछली व 3 इंच व्यास के लोहे के पाइप, केबल व मोटर सहित अन्य सामान दूर-दूर तक खेतों मे बिखर गया।
भयंकर आवाज के साथ हुई इस घटना के प्रत्यक्षदर्शी यह देख स्तब्ध रह गए। गनीमत रही कि सुबह का समय होने की वजह से आसपास खेतों में किसानों व मजदूरों की मौजूदगी कम होने की वजह से जान का नुक्सान नहीं हुआ।
बहरहाल किसान को लाखों का नुक्सान होने का अनुमान है। किसान लक्खा सिंह नम्बरदार ने बताया कि अपने खेतों में सिंचाई के लिए लाखों की लागत से उसने करीब 2 वर्ष पूर्व 800 फुट गहरा बोरवैल लगवाया था। बीती रात 2 बजे से उनकी बिजली लाइन पर विद्युत आपूॢत का शैड्यूल था। आधी रात को 2 बजे लाइट आने के बाद मोटर चालू की थी। उन्होंने बताया कि शनिवार सुबह करीब 7 बजे तक सब ठीकठाक था लेकिन 7 बजे के आसपास बोरवैल पर एक जोरदार धमाका हुआ। धमाके के साथ ही बोरवैल की डिलीवरी पाइप बोर तेजी से बाहर निकली व कई फुट ऊंचाई पर आसमान में लहराने लगी।
मोटर सहित अन्य सामान कुछ सैकेंड तक हवा में लहराने के बाद पाइप टूट-टूट कर दूर तक खेतों में बिखर गए। आसमानी बिजली-सी तेजी से घटी इस घटना के समय किसी को हिलने तक का भी समय नहीं मिला। किसानों ने बताया कि डिलीवरी पाइप व मोटर उड़कर खेतों में गिरने के बाद बोरवैल से पानी की ऊंची धारा भी बह निकली जो कुछ समय बाद शांत हो गई। किसान सतनाम सिंह, रविन्द्र, जसविन्द्र, पाला राम, हरपाल, बलजिन्द्र व मुंशी राम आदि ने बताया कि उन्होंने आज तक ऐसा नजारा न देखा था न ही ऐसी घटना के बारे मे सुना है।
मोटे तौर पर लोग यही अनुमान लगा रहे हैं कि संभवतया ऐसा बोरवैल में किसी शक्तिशाली गैस की वजह से हुआ है। उधर, किसान लक्खा सिंह को आर्थिक नुक्सान के अलावा पानी के अभाव में खेतों में खड़ी धान की फसल की सुरक्षा की भी चिंता सताने लगी है। सिंह ने बताया कि उक्त बोरवैल पर करीब 20 एकड़ धान की फसल निसार पर है। इस समय खेतों की सिंचाई आवश्यक होती है।
इस दुर्घटना के बाद पानी के अभाव में उसकी फसल मर सकती है। बोरवैल को दुरुस्त कर पुन: चालू करने के लिए किसान ने प्रशासन से आर्थिक मदद की गुहार लगाई है।