हरियाणा के ऐसे गांव जहां किसान स्वयं तारे बिछाकर लेते हैं बिजली, हर साल करना पड़ता है ये काम

Edited By Manisha rana, Updated: 05 Sep, 2020 10:31 AM

उत्तर प्रदेश सीमा पर यमुना के उस पार हरियाणा के 3 गांव ऐसे हैं जहां हर साल किसानों को बिजली चालू करने के लिए नए पोल और बिजली...

यमुनानगर (सुरेंद्र मेहता) : उत्तर प्रदेश सीमा पर यमुना के उस पार हरियाणा के 3 गांव ऐसे हैं जहां हर साल किसानों को बिजली चालू करने के लिए नए पोल और बिजली की तारे अपने खर्चे से लानी और लगानी पड़ती हैं। यमुना नदी के बीच चलते पानी में किसान बिजली के पोल लगाते हैं और उस पर तारे बिछाते हैं क्योंकि बिजली निगम ने चलते पानी में यह कार्य किए जाने से मना कर दिया है।

हरियाणा के यमुनानगर जिला के गांव नकुम, पोबारी, गूचा बांस की सैकड़ों एकड़ भूमि यमुना के उस पार लगती है। यहां फसल के लिए गांव वालों ने डेढ़ सौ से अधिक ट्यूबवेल कनेक्शन लिए हुए हैं जिसका लाखों रुपए का भुगतान प्रतिमाह बिलों के रूप में किया जाता है। प्रत्येक वर्ष यमुना में पानी आने से यमुना के बीचों बीच लगे बिजली के पोल व तारे गिर जाती हैं। जिससे इन इलाकों में बिजली बंद हो जाती है। यह संकट कई बार तो महीनों तक चलता है लेकिन पिछले दो-तीन वर्षों से परेशान किसानों ने इसका एक नया तरीका निकाला है। वह स्वयं आपस में पैसे इकट्ठे करते हैं। उससे पोल और तारे एवं अन्य सामान लाते हैं। फिर स्वयं ही बिजली कर्मचारी बनकर यमुना के बीच यह पोल फिक्स करके उसमें बिजली की तारे डालकर बिजली चालू करते हैं।
PunjabKesari

यमुना के बीचों बीच तेज पानी के बहाव में काम करने वाले यह लोग बिजली कर्मचारी नहीं है बल्कि ऑन किसान है लेकिन जब बिजली निगम ने हाथ खड़े कर दिए तो इन्हें यह जोखिम भरा काम करना पड़ा। जान जोखिम में डालकर किए जाने वाले इस कार्य को करना वह अपनी मजबूरी बताते हैं।गांव के रहने वाले प्रदीप राणा नंबरदार, महावीर सिंह ने बताया कि इस बार उन्हें यह काम करने में 28 घंटे लगे। उन्होंने बताया कि बिजली अधिकारी से जब उन्होंने बात की तो उसने कहा कि वह 4 महीने तक यह काम नहीं कर सकते क्योंकि यमुना में पानी होता है। पानी उतर जाने के बाद ही बिजली लाइन चालू हो पाएगी।

PunjabKesari
उन्होंने बताया कि पिछले 10 दिन से गांव में बिजली नहीं थी। फसलों का नुकसान होने लगा था। जिसके बाद उन्होंने 50 गांव वासियों की मदद से बिजली की तारे व पोल लगाकर बिजली चालू की। गांव वासियों का कहना है कि वह बिजली निगम को हर वर्ष लाखों रुपए बिजली के बिलों के रूप में देते हैं और बिजली चालू रखना निगम की ड्यूटी बनती है। लेकिन निगम के कर्मचारी अपनी ड्यूटी से भागते हैं जिसके चलते गांव वासियों ने मिलकर अपनी जान जोखिम में डालकर यह कार्य किया है। गांव वासियों ने बिजली निगम से मांग की है कि कई वर्षों से आ रही इस समस्या का स्थाई समाधान किया जाए।

PunjabKesari
वहीं इस संबंध में हरियाणा बिजली वितरण निगम के कार्यकारी अभियंता सुखबीर सिंह का कहना है कि यमुना नदी के पार हरियाणा के कुछ गांव पड़ते हैं। पिछले दिनों यमुना में पानी आया था जिससे बिजली के पोल गिर गए थे। किसानों के साथ मिल कर अब उन्हें ठीक करके बिजली सप्लाई चालू कर दी गई है। उन्होंने बताया कि भविष्य के लिए योजना बनाई जा रही है। यहां  एक ब्रिज बन रहा है इस ब्रिज के अंदर केबल डाल कर बिजली सप्लाई की जाएगी। जिस से यमुना के बीच पोल लगने और गिरने का झंझट खत्म हो जाएगा और यह अगले मार्च तक इस योजना से बिजली चालू होने की उम्मीद है।

बता दें कि यमुनानगर के गांव की ऐसी दशा कई सालों से है लेकिन अभी तक इसका कोई स्थाई समाधान नहीं निकला। अब नगर निगम के अधिकारी आश्वासन दे रहे हैं कि यमुना पर पड़ने वाले ब्रिज में केबल डाल कर इस समस्या का समाधान किया जाएगा। देखना होगा निगम के अधिकारियों का यह आश्वासन कितना कारगर साबित होता है।

 

Related Story

Trending Topics

IPL
Chennai Super Kings

176/4

18.4

Royal Challengers Bangalore

173/6

20.0

Chennai Super Kings win by 6 wickets

RR 9.57
img title
img title

Be on the top of everything happening around the world.

Try Premium Service.

Subscribe Now!