Edited By Punjab Kesari, Updated: 16 Feb, 2018 08:24 AM
हरियाणा सरकार ने नगर पालिकाओं के अधिकार क्षेत्र में आने वाले एक मंजिला बूथ या दुकानों पर प्रथम तल के निर्माण या नियमीकरण के संबंध में दिशा-निर्देश जारी किए है। शहरी स्थानीय निकाय विभाग के एक प्रवक्ता ने यहां यह जानकारी दी। उन्होंने बताया कि यह...
चंडीगढ़(ब्यूरो): हरियाणा सरकार ने नगर पालिकाओं के अधिकार क्षेत्र में आने वाले एक मंजिला बूथ या दुकानों पर प्रथम तल के निर्माण या नियमीकरण के संबंध में दिशा-निर्देश जारी किए है। शहरी स्थानीय निकाय विभाग के एक प्रवक्ता ने यहां यह जानकारी दी। उन्होंने बताया कि यह दिशा-निर्देश स्वीकृत ड्राइंग के अनुसार नगरपालिकाओं द्वारा आबंटित किए गए। साथ ही कहा कि 2.75 मीटर & 8.25 और ऊपर के आकार के सभी एक मंजिला बूथ या दुकानों पर लागू होंगे।
आबंटी को नए निर्माण के लिए कलैक्टर दर के 20 प्रतिशत के बराबर राशि का भुगतान करना होगा। पहले से निर्मित प्रथम मंजिल के नियमीकरण के लिए, कलैक्टर दर का 25 प्रतिशत शुल्क होगा। आबंटी को यह आदेश जारी होने के 6 महीनों के भीतर अपनी पहली मंजिल के निर्माण को नियमित करवाना होगा। यदि आबंटी द्वारा निर्धारित अवधि के भीतर निर्माण नियमित नहीं करवाया जाता है तो उसके विरुद्ध कानून के अनुसार कार्रवाई की जाएगी।
उन्होंने कहा कि एक मंजिला दुकानों या बूथों पर पहली मंजिल का इस्तेमाल केवल भंडारण उद्देश्य हेतु किया जाएगा। एक मंजिला दुकानों पर पहली मंजिल बनाने की अनुमति भी आबंटन पत्र में दी गई नियत शर्तों और नियमानुसार नियंत्रित होगी। आवेदक या आबंटी को हरियाणा नगरपालिका अधिनियम, 1973 और हरियाणा नगर निगम अधिनियम,1994 और समय-समय पर लागू और संशोधित विनियम, भवन कोड, नीतियों और निर्देशों का पालन करना होगा। यदि दुकान या बूथ के एक से अधिक आबंटी है तो उस स्थल के लिए सभी आबंटियों को आवेदन करना होगा। आबंटी को यह सुनिश्चित करना होगा कि कोई निर्माण उल्लंघन नहीं किया गया है।
यदि ऐसा कोई उल्लंघन है तो आवेदन जमा करने से पहले उसे हटाना होगा। इसके अलावा, 2.75 एम गुना 8.25 एम और ऊपर के आकार वाले अनाबंटित एक मंजिला दुकानों या बूथों की इस प्रावधान के साथ नीलामी की जाएगी कि पहली मंजिल का उपयोग केवल भंडारण उद्देश्य के लिए किया जाएगा। ऐसी अनाबंटित दुकानों का आरक्षित मूल्य तदनुसार तय किया जाएगा।