Edited By vinod kumar, Updated: 28 Apr, 2020 06:42 PM
न राशन मिलता है न खाना मिलता, 5 बच्चे है एक पॉलीथिन देते है खुद खा या बच्चों को खिलाए, बाहर निकलो तो पुलिस डंडा बरसाती है। ये कहना है प्रवासी मजदूरों का जो आज पानीपत लघु सचिवालय में अपने घर जाने के लिए पास बनवाने के लिए पहुंचे थे, लेकिन 30-35 लोगों...
पानीपत (सचिन): न राशन मिलता है न खाना मिलता, 5 बच्चे है एक पॉलीथिन देते है खुद खा या बच्चों को खिलाए, बाहर निकलो तो पुलिस डंडा बरसाती है। ये कहना है प्रवासी मजदूरों का जो आज पानीपत लघु सचिवालय में अपने घर जाने के लिए पास बनवाने के लिए पहुंचे थे, लेकिन 30-35 लोगों की भीड़ की सूचना मिलने पर सिटी थाना एसएचओ मौके पर पहुंचे और उन्हें डंडा मारकर वहां से भगा दिया।
प्रवासी मजदूरों ने आरोप लगाते हुए कहा कि उन्हें सरकार व प्रशासन की तरफ से कोई मदद नहीं मिल रही है, इसलिए वह यूपी के सीएम योगी आदित्यनाथ से उन्हें घर बुलाने की मांग करते हैं। हालांकि प्रदेश सरकार के आदेश पर एक और जहां पानीपत प्रसाशन प्रवासी मजदूरों को पिछले कई दिनों से उन्हें उनके घर छोड़कर आ रहा है, लेकिन इसके बावजूद उसके भी जिला में भारी संख्या में प्रवासी मजदूर अब भी बचे हैं, जो अपने घर जाना चाहते हैं।
प्रवासी मजदूरों का कहना है कि उनके पास न तो अब पैसे हैं और ना ही उन्हें प्रशासन व किसी भी सामाजिक संस्था द्वारा राशन दिया जा रहा है। उन्हाेंने कहा कि उन्हें शुरुआत के दिनों में तो भोजन मिला, लेकिन कम मात्रा में मिला उसको वह अपने बच्चों को खिलाएं या खुद खाएं यह समझ में नहीं आता है। मजदूरों ने प्रशासन से अपील करते हुए कहा कि उन्हें कैसे भी करके उनके घरों तक पहुंचाया जाए, वह यहां किसी भी कीमत पर रहना नहीं चाहते हैं। उन्हाेंने कहा की उन्हें चांदनी बाग थाना की तरफ से यहां भेजा गया था, लेकिन पुलिस मार पीट रही है।
प्रशासन द्वारा कई प्रवासी मजदूरों को घर भेजा जा चुका है, लेकिन बावजूद उसके भी यहां भारी संख्या में प्रवासी मजदूर रहते हैं जो अपने घरों काे जाना चाहते हैं, लेकिन बड़ा सवाल यह पैदा होता है कि आखिर यह प्रवासी मजदूर अब तक घर क्यों नहीं जा पा रहे हैं। जब प्रशासन द्वारा बसें भेजी गई थी तो यह पानीपत में कैसे रह गए। क्या प्रशासन की किसी व्यवस्था में कोई दिक्कत है कि उन्हें बसें जाने की जानकारी नहीं मिल पा रही है।