गुरुग्राम: गांवों में कोरोना रोकथाम के लिए बनाए जाएगे आइसोलेशन सेंटर, करवाया जाएगा सैनेटाइज

Edited By Manisha rana, Updated: 14 May, 2021 01:08 PM

gurugram isolation centers to be built in villages for prevention of corona

शहरी क्षेत्र में कोरोना संक्रमण कुछ हद तक नियंत्रित होने के बाद अब गुरुग्राम जिला प्रशासन शहरी क्षे6 के साथ साथ गांवों पर भी ध्यान देगा। इसके लिए कार्य योजना तैयार कर ली गई...

गुड़गांव (ब्यूरो) : शहरी क्षेत्र में कोरोना संक्रमण कुछ हद तक नियंत्रित होने के बाद अब गुरुग्राम जिला प्रशासन शहरी क्षे6 के साथ साथ गांवों पर भी ध्यान देगा। इसके लिए कार्य योजना तैयार कर ली गई है जिसे आने वाले दिनों में अमलीजामा पहनाया जाएगा। हालांकि कोरोना की पहली लहर ज्यादातर शहरी क्षेत्रों तक सीमित रही थी, लेकिन अब दूसरी लहर में संक्रमण के मामले ग्रामीण क्षेत्र में भी पाए जा रहे है। इसी तथ्य को ध्यान में रखते हुए राज्य सरकार ने दिशा-निर्देश भी जारी किए है। उन निर्देशों औऱ विषय की गंभीरता को समझते हुए गुरुग्राम क्षेत्र में कार्य योजना बनाकर उस पर काम भी शुरु कर दिया है।

उपायुक्त डॉक्टर यश गर्ग के अनुसार कोरोना संक्रमित मरीजों तथा संदिग्ध व्यक्तियों को स्वस्थ लोगों से अलग करने के लिए गांवों में भी आइसोलेशन सेंटर बनाने होंगे। ऐसे सेंटर बनाने के लिए गुरुग्राम जिला के गांवों में 164 भवनों अथवा इमारतों की पहचान को गई है ताकि परिस्थिति अनुरूप आइसोलेशन सेंटर बनाकर कोरोना संक्रमित पाए जाने वाले व्यक्तियों को आवश्यक स्वास्थ्य सुविधाएं दी जा सके। गुरुग्राम जिला में 164 प्राम पंचायतों में आइसोलेशन सेंटर बनाने के लिए स्थान चिन्हित कर लिए गए हैं।

इन आइसोलेशन सेंटरों में स्वास्थ्य सुविधाएं देने के लिए जिला प्रशासन व स्वास्थ्य विभाग द्वारा एकजुटता से काम किया जा रहा है। आगामी 10 दिन में गावों में घर-घर आकर लोगो की स्क्रीनिंग व स्वास्थ्य जंच की जाएगी ताकि संक्रमण को फैलने से रोका जा सके। स्वास्थ्य विभाग व जिला विकास एवं पंचायत विभाग द्वारा संयुक्त रूप से टीमें तैयार की जा रही हैं। इन टीमों में आंगनवाड़ी वर्करों को भी शामिल किया गया है। ये टीमें ग्रामीण क्षेत्रों में कोरोना लक्षण वाले मरीजों के स्वास्थ्य की जांच कर उन्हें 'कोविड अनुकूल व्यवहार के बारे में जगरूक करेंगी। इन टीमों को जल्द ही प्रशिक्षण दिया जाएगा ताकि योजनाबद्ध तरीके से काम किया जा सके। इस टीम में ग्राम पंचायत प्रतिनिधि को भी शामिल किया जाएगा। उन्होंने बताया कि राज्य सरकार के निर्देशानुसार जिला के 7 हाईरिस्क ग्रामीण क्षेत्रों में पहले से ही 138 टीमों का गठन कर टेस्टिंग, ट्रेसिंग व ट्रीटमेंट पर काम किया जा रहा है।

आइसोलेशन सैंटर बनाने को लेकर पंचायतों को गांवों की आबादी के अनुसार ग्रांट भी दी जाएगी। जिन गांवो की आबादी 10 हजार से कम है, उन्हें 10 हजार रूपये तथा जिनकी जनसंख्या 10 हजार से अधिक है, उन्हें 50 हजार रूपये की ग्रांट दी जाएगी। गांवों में कोरोना संक्रमण की रोकथाम के लिए वहीं गांव में इसके उपचार की व्यवस्था की जानी अत्यंत आवश्यक है। इसी उद्देश्य से प्रदेश सरकार द्वारा पंचायतों को फंड मुहैया करवाया जा रहा है ।उपायुक्त ने आमजन से अपील करते हुए कहा कि वे कोरोना संक्रमण संबंधी लक्षण होने पर तुरंत अपने नजदीकी स्वास्थ्य केन्द्र पर संपर्क करके अपना सैंपल दें और टेस्ट करवाएं। रिपोर्ट आने तक अपने घर में ही परियार के बाकी सदस्यों से अलग रहें। ऐसा नहीं करने पर वे अपने परिजनों के जीवन को भी खतरे में डाल सकते हैं, इसलिए ये इस बात का विशेष ध्यान रखें कि संक्रमण ना फैले। लोग भीड़-भाड़ वाले स्थानों पर जाने से बचें और फेस मास्क का प्रयोग अवश्य करें।

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