Edited By Shivam, Updated: 25 Mar, 2019 01:03 PM
पूर्व राज्यसभा सांसद एवं वर्तमान नलवा हलका विधायक रणबीर गंगवा ने चश्मा उतारकर कमल का दामन थाम लिया है। इसी के साथ हिसार संसदीय क्षेत्र से सांसद एवं नलवा से विधायक का चुनाव लडऩे का सपना देखने वाले भाजपाइयों की नींद उड़ गई है। सांसद टिकट के लिए...
हिसार (योगेंद्र): पूर्व राज्यसभा सांसद एवं वर्तमान नलवा हलका विधायक रणबीर गंगवा ने चश्मा उतारकर कमल का दामन थाम लिया है। इसी के साथ हिसार संसदीय क्षेत्र से सांसद एवं नलवा से विधायक का चुनाव लडऩे का सपना देखने वाले भाजपाइयों की नींद उड़ गई है। सांसद टिकट के लिए हाथ-पैर मार रहे भाजपाइयों के साथ ही अब इस रेस में गंगवा भी शामिल हो गए हैं।
विधायक चुनाव में अभी समय है लेकिन नलवा हलके में प्रचार-प्रसार से लेकर बूथस्तर तक पसीना बहाने वाले जिला कार्यकारिणी के 2 पदाधिकारियों को अब अपनी मेहनत पर पानी फिरता नजर आ रहा है।
भाजपा ने अभी हिसार संसदीय क्षेत्र से सांसद की टिकट का ऐलान नहीं किया है लेकिन कुछ भाजपाई तो कुछ हाल ही में भाजपा का दामन थामने वाले टिकट की रेस में चल रहे थे। टिकट के लिए यह दिल्ली, चंडीगढ़ से लेकर नागपुर तक एक किए हुए थे। अचानक इनैलो विधायक एवं पूर्व राज्यसभा सांसद रणबीर गंगवा के भाजपा में आने से इन सभी नेताओं की बेचैनी बढ़ गई है। साफ है कि इस लोकसभा चुनाव में भाजपा जाट-गैरजाट के मुद्दे पर चुनावी मैदान में जाने वाली है।
वहीं टिकट की रेस में गंगवा का नाम आगे आ गया है। हालांकि गैर-जाट के रूप में भाजपा के पास एक-दो और भाजपा नेता के नाम टिकट की रेस में हैं लेकिन गंगवा के राजनीतिक अनुभव एवं उनकी समाज के पचास हजार से अधिक वोट के चलते वह इस समय दूसरों से आगे चल रहे हैं।
अब बात करें कि नलवा हलके की तो यहां से भाजपा जिला कार्यकारिणी के 2 नेता लंबे समय से तैयारी कर रहे हैं। इसके लिए प्रचार-प्रसार में दोनों जमीनी स्तर पर भी जमकर पसीना बहा रहे हैं। गंगवा के भाजपा में आने से सबसे अधिक झटका इन 2 नेताओं को ही लगा है। हालांकि खुलकर कोई कुछ नहीं कह रहा लेकिन सभी पार्टी हाईकमान के निर्देश को मानने की बात कहकर अभी चुप्पी साधे हुए हैं।
जानकारों की मानें तो इन नेताओं ने अपने आकाओं के यहां हाजिरी देकर अपनी ङ्क्षचता से उन्हें अवगत भी करवा दिया है। फिलहाल इन्हें लोकसभा चुनाव का हवाला देकर मौन रहकर काम करने की सलाह दी गई है। दूसरी और गंगवा ने पंजाब केसरी को बताया कि वह बिना शर्त भाजपा में आए हैं और वह भाजपा कार्यकर्ताओं के साथ मिलकर चलेंगे।
गैर-जाट का मुद्दा भी गया और भाजपा को प्रत्याशी भी मिल गया
कांग्रेस के एक वरिष्ठ नेता जो गैर-जाट के मुद्दे पर सालों से अपनी सियासत कर रहे हैं उनके भाजपा में शामिल होने की अफवाह लंबे समय से चल रही हैं। हालांकि वह अपने नहीं, अपने बेटे के लिए टिकट मांग रहे हैं। इन नेता की सोच थी कि भाजपा के पास गैर-जाट का नामी-गिरामी चेहरा नहीं है और इसके चलते उसके साथ भाजपा समझौता करेगी। अब भाजपा ने गंगवा को अपने पाले में कर इन नेता की हवा ही निकाल दी है। राजनीतिक जानकारों की माने तो इन नेता के हाथ से अब जहां गैर-जाट का मुद्दा भी जा रहा है वहीं भाजपा को गैर-जाट के रूप में गंगवा के रूप में सशक्त दावेदार भी मिल गया है।