कांग्रेस व जजपा सोनीपत से ‘हैवीवेट’ कैंडीडेट उतारने की तैयारी में!

Edited By Shivam, Updated: 13 Mar, 2019 11:03 AM

congress and jjp ready to launch heavyweight candidate from sonipat

चुनावी रणभेरी बज चुकी है। हरियाणा में चुनाव छठे चरण में है लेकिन प्रत्याशियों को लेकर कयासों का दौर जोर पकड़ रहा है। वहीं इस बार सोनीपत को कोई भी पार्टी हलके में लेने के मूड में नहीं है। सोनीपत लोकसभा क्षेत्र में आमतौर पर टक्कर भाजपा व कांग्रेस की...

सोनीपत (संजीव दीक्षित): चुनावी रणभेरी बज चुकी है। हरियाणा में चुनाव छठे चरण में है लेकिन प्रत्याशियों को लेकर कयासों का दौर जोर पकड़ रहा है। वहीं इस बार सोनीपत को कोई भी पार्टी हलके में लेने के मूड में नहीं है। सोनीपत लोकसभा क्षेत्र में आमतौर पर टक्कर भाजपा व कांग्रेस की ही रही है लेकिन इनैलो ने पिछले कई चुनावों में यहां पर जनाधार सिद्ध किया है।

इस बार चूंकि समीकरण बदल चुके हैं और जजपा के रूप में नई पार्टी बन चुकी है तो इनैलो के लिए पुराना जनाधार सिद्ध करना बड़ी चुनौती होगी,क्योंकि इनैलो के वे सभी बड़े नेता जजपा में शामिल हो चुके हैं जिनके दम पर वह सोनीपत में मजबूत थी। चर्चा है कि कांग्रेस अपने कद्दावर नेता एवं पूर्व मुख्यमंत्री भूपेंद्र सिंह हुड्डा को सोनीपत से मैदान में उतार सकती है तो वहीं,जजपा भी दुष्यंत व दिग्विजय में से किसी को सोनीपत से चुनाव लड़वा सकती है। इनैलो की ओर से किसी बड़े नेता का नाम चर्चा में नहीं है। 

करनाल से मेनका आई तो अरविंद शर्मा सोनीपत से हो सकते हैं भाजपा प्रत्याशी
माना जा रहा है कि यदि भाजपा ने करनाल से मेनका गांधी को टिकट थमाया तो पूर्व सांसद अरविंद शर्मा को भाजपा सोनीपत से मैदान में उतार सकती है। ऐसा इसीलिए क्योंकि अरविंद शर्मा सोनीपत से पहले भी सांसद रह चुके हैं। वहीं, भाजपा के उच्च पदस्थ सूत्रों की मानें तो मेनका गांधी को करनाल से टिकट मिलना लगभग तय है।
 

भाजपा के 2 धड़े, एक रमेश कौशिक के पक्ष में, दूसरा खिलाफ 
प्रदेशभर में एक होने का दम भरने वाली भाजपा के सोनीपत में 2 धड़े नजर आ रहे हैं। एक धड़ा चाहता है कि वर्तमान सांसद रमेश कौशिक को इस बार टिकट न दिया मिले और कोई नया प्रत्याशी मैदान में उतारा जाए तो वहीं,दूसरा धड़ा लगातार रमेश कौशिक के लिए लॉङ्क्षबग कर रहा है। कई दिन से स्टार पहलवान योगेश्वर दत्त के नाम की चर्चा तेज हो चली है। योगेश्वर की सी.एम. से मुलाकात के बाद चर्चा है कि भाजपा उन्हें सोनीपत से मैदान में उतार सकती है।

इसका बड़ा कारण यह है कि योगेश्वर की नजदीकियां भाजपा के बड़े नेता मुरली मनोहर जोशी से हैं। वे भी उनके लिए भाजपा को मना सकते हैं। चर्चा यह भी है कि यदि भाजपा ने सोनीपत से जाट प्रत्याशी को उतारने का मन बनाया तो फिर टिकट पूर्व मंत्री कृष्णा गहलावत को दी जा सकती है। वहीं, सांसद रमेश कौशिक टिकट कटने की संभावनाओं को मात्र अफवाह करार दे रहे हैं। 

सोनीपत में मुकाबला कांग्रेस व भाजपा के बीच ही रहा है
1991 से अब तक के रिकार्ड के आधार पर कहा जा सकता है कि सोनीपत में मुकाबला कांग्रेस व भाजपा के बीच ही रहा है। 1991 में कांग्रेस के धर्मपाल मलिक सांसद चुने गए थे। 1996 में निर्दलीय उम्मीदवार अरविंद शर्मा ने सभी को चौंकाते हुए जीत दर्ज की थी। 1998,99 और फिर 2004 में लगातार 3 बार भाजपा के किशन सांगवान सांसद रहे। खास बात यह है कि इन तीनों चुनावों में भाजपा ने हरियाणा में केवल सोनीपत में ही जीत दर्ज की थी और सांगवान ने रिकार्ड कायम किया। 2009 के चुनाव तक तत्कालीन मुख्यमंत्री भूपेंद्र सिंह हुड्डा का प्रभाव काफी बढ़ चुका था और ओल्ड रोहतक (रोहतक, सोनीपत व झज्जर) को उनका गढ़ माना जाने लगा।

हुड्डा ने इसे सिद्ध भी किया,क्योंकि उन्होंने जिस जितेंद्र मलिक को लोकसभा का टिकट दिलवाई,वह काफी बड़े अंतर से विजयी रहे। 2014 में हालांकि फिर से भाजपा ने जीत दर्ज की और रमेश कौशिक सांसद बने। अब कांग्रेस के सामने चुनौती अपने पुराने गढ़ को फिर से हासिल करने की है तो भाजपा सोनीपत से जीत को दोहराना चाहेगी। दिलचस्प बात यह है कि पिछली बार जहां मुकाबले में रहने वाली तीसरी पार्टी के रूप में इनैलो को देखा जा रहा था तो वहीं, इस बार जजपा चर्चा में है।

Related Story

Trending Topics

IPL
Chennai Super Kings

176/4

18.4

Royal Challengers Bangalore

173/6

20.0

Chennai Super Kings win by 6 wickets

RR 9.57
img title
img title

Be on the top of everything happening around the world.

Try Premium Service.

Subscribe Now!