Edited By Deepak Paul, Updated: 11 Jan, 2019 01:09 PM
नामांकन आले दिन सारी पाॢटयां कै उम्मीदवार स्यामणे आ गए सैं। हाथ आलेआं नै तो अपणे बड़े कद आले नेता नै इस वोटां म्हैं उतार कै मेला लुटण जिसा कर दिया सै। हरी पगड़ी आलेआं नै जाट नेता पै भरोसा करया सैं।
चंडीगढ़(मीनू): नामांकन आले दिन सारी पार्टियां कै उम्मीदवार स्यामणे आ गए सैं। हाथ आलेआं नै तो अपणे बड़े कद आले नेता नै इस वोटां म्हैं उतार कै मेला लुटण जिसा कर दिया सै। हरी पगड़ी आलेआं नै जाट नेता पै भरोसा करया सैं। इस म्हैं बी दिलचस्प बात यू सै के इनका उम्मीदवार पहल्यां आजाद खड्या था उसी नै इन्नै अपणा समर्थन दे दिया सै। भगवांधारियां नै तो जाति-कार्ड खेलण के आरोप तै बचण खातर गैर-जाट उम्मीदवार नै मैदान म्हैं उतार दिया सै।
घर की पार्टी तै न्यारे होए पाच्छै अपणी पार्टी बनाण आले भतीजे नै अपणा ई छोटा भाई खडा कर दिया सैं वोटा म्हैं। बांगर म्हैं जाट अर गैर-जाट समीकरण कितना काम आवैगा अर लोग किस पार्टी नै जितावैंगे यू तो आण आला टेम बतावैगा पर नतीजे आण तक चर्चा अर ‘खर्चा’ दोनूं ई न्यू चालैंगे।