भूप्पी सेहत के लिए सी.बी.आई. हानिकारक सै!

Edited By Deepak Paul, Updated: 15 Jul, 2018 02:09 PM

cbi for bhopal health harmful sane

प्रदेश के वित्त मंत्री कैप्टन अभिमन्यु ने जाट आरक्षण के दौरान उनकी कोठी जलाने के पीछे सीधे तौर पर पूर्व सी.एम. भूपेंद्र सिंह हुड्डा पर आरोप लगाकर जाट राजनीति में नया मोड़ ला दिया है। साथ ही कैप्टन ने जाट आंदोलनकारियों को इस मामले में ‘क्लीन चिट’...

अम्बाला(नरेन्द्र वत्स): प्रदेश के वित्त मंत्री कैप्टन अभिमन्यु ने जाट आरक्षण के दौरान उनकी कोठी जलाने के पीछे सीधे तौर पर पूर्व सी.एम. भूपेंद्र सिंह हुड्डा पर आरोप लगाकर जाट राजनीति में नया मोड़ ला दिया है। साथ ही कैप्टन ने जाट आंदोलनकारियों को इस मामले में ‘क्लीन चिट’ देने का प्रयास किया है। ये सब सी.बी.आई. की ओर से किए गए खुलासे के आधार पर किया गया है। इससे पूर्व सी.एम. की मुश्किलें बढ़ सकती हैं। साथ ही आने वाले चुनावों में इससे कांग्रेस को भी नुक्सान होने के आसार बन गए हैं। जाट भाजपा से पहले ही नाराज चल रहे हैं। 

फरवरी, 2016 में हुए जाट आरक्षण आंदोलन के दौरान हुई ङ्क्षहसा में कई लोग मौत का शिकार हो गए थे। प्रदेश के कई हिस्सों में व्यापारियों का करोड़ों रुपए का नुक्सान हो गया था। उपद्रवियों ने व्यापारियों के प्रतिष्ठानों में जमकर लूटपाट की थी। कैप्टन अभिमन्यु की कोठी को उपद्रवियों ने आग के हवाले कर दिया था। उनके परिजनों ने मुश्किल से अपनी जान बचाई थी। सी.बी.आई. की चार्जशीट के आधार पर कैप्टन ने अब आरोप लगाया है कि उनकी कोठी को आग लगाने व उनके परिजनों को जान से मरवाने के लिए पूर्व सी.एम. हुड्डा ने साजिश रची थी।

 इस मामले में जो लोग सी.बी.आई. जांच में आरोपी पाए गए हैं वे हुड्डा के समर्थक ही हैं। हुड्डा ने सरकार गिराने के लिए ऐसा किया था। इस आंदोलन के बाद सैंकड़ों लोगों के खिलाफ विभिन्न धाराओं के तहत केस दर्ज किए गए थे। अब सी.बी.आई. की चार्जशीट ने मामले को नया मोड़ देने का काम कर दिया है। सी.बी.आई. ने आरोपियों की कॉल टेप को आधार बनाया है। चार्जशीट में जिन 11 आरोपियों के नाम शामिल किए गए हैं उनका सीधा संबंध भूपेंद्र सिंह हुड्डा के साथ बताया गया है।

आंदोलन के बाद से ही जाटों में भाजपा सरकार के खिलाफ नाराजगी देखने को मिल रही है। अभी भी जाट सी.एम. और मंत्रियों के कार्यक्रमों में खलल डालने की तैयारी में हैं। भाजपा को इस आंदोलन से दोहरा नुक्सान हो सकता है। भाजपा को जाटों से वोट मिलने के चांस कम हैं। साथ ही इस आंदोलन के दौरान दर्ज किए गए केस वापस लेने की घोषणा के बाद उन व्यापारियों में भारी नाराजगी है जिनका आंदोलन के दौरान काफी नुक्सान हुआ था। 

जाटों को मनाने के लिए खुद सी.एम. मनोहर लाल खट्टर भी प्रयास कर रहे हैं लेकिन अभी तक उनके प्रयासों का असर होता दिखाई नहीं दे रहा। ऐसा लग रहा था कि भाजपा से जाटों की नाराजगी का फायदा कांग्रेस और इनैलो को ही मिलेगा। सी.बी.आई. की चार्जशीट के बाद कांग्रेस को भी इससे नुक्सान होने के आसार बन गए हैं। जाटों में यह संदेश जाएगा कि कांग्रेसी नेताओं की करतूतों के कारण उन्हें बदनामी का सामना करना पड़ रहा है। 


प्रदेश के दूसरे हिस्सों में भी हिंसा फैलाने के आरोप पूर्व में एक हुड्डा समर्थक कांग्रेसी पर लगे थे। भाजपा के उन जाट नेताओं को इससे थोड़ी राहत मिल सकती है जो अभी तक अपने ही समाज के लोगों की नाराजगी का सामना कर रहे हैं। कैप्टन अभिमन्यु ने जाट आंदोलन में हिस्सा लेने वाले लोगों को हिंसा के मामले में क्लीन चिट देकर उनकी नाराजगी दूर करने का प्रयास किया है। 

Related Story

Trending Topics

IPL
Chennai Super Kings

176/4

18.4

Royal Challengers Bangalore

173/6

20.0

Chennai Super Kings win by 6 wickets

RR 9.57
img title
img title

Be on the top of everything happening around the world.

Try Premium Service.

Subscribe Now!