Edited By Updated: 13 Feb, 2016 02:05 PM
सरकार खेल के मैदानों पर करोड़ों रुपए खर्च कर रही है, परन्तु बिना देखरेख व कोच की कमी के कारण आज कई
कैथल,(रमन गुप्ता) :सरकार खेल के मैदानों पर करोड़ों रुपए खर्च कर रही है, परन्तु बिना देखरेख व कोच की कमी के कारण आज कई स्टेडियम की हालत बहुत खस्ता है। ऐसी ही उपेक्षा का शिकार बन रहा है क़स्बा फतेहपुर –पूंडरी का स्टेडियम। यह खेल स्टेडियम हुड्डा सरकार के समय बनाया गया था।
दिल्ली—करनाल रोड से दो किलोमीटर की दूरी पर करोड़ों रुपए की लागत से बने इस स्टेडियम में उस समय तमाम सुविधाएं उपलब्ध करवाई गई थीं। सरकार व खेल अधिकारियों की बेरुखी व उपेक्षा के चलते आज आलम यह है कि इस मैदान में चारों ओर जंगली घास व कांटेदार झाड़ियां उग आई हैं। भवन की जर्जर हालत बन गई है। यह स्टेडियम असामाजिक तत्वों का अड्डा बन गया है। इसकी दीवार टूट चुकी है, यहां न बिजली की व्यवस्था है और न पानी की।
पूंडरी के विधायक दिनेश कौशिक भी मानते है कि इस मैदान की हालत खस्ता है। यहां के लोग इस बारे में उनके पास शिकायत लेकर आए थे। उन्होंने सरकार को इस बारे में लिखा है और जैसे ही बजट आएगा इसे ठीक करवाया जाएगा। कोच की भी व्यवस्था की जाएगी।
स्थानीय लोगों का कहना है कि उन्होंने करोड़ों रुपए की पंचायत की जमीन सरकार को स्टेडियम के लिए दी थी,ताकि उनके बच्चे यहां पर खेलों का अभ्यास कर सकें,परन्तु आज इस स्टेडियम की हालत बहुत ज्यादा ख़राब हो चुकी है। यहां पर न जाने का रास्ता है,सडक की हालत बहुत ज्यादा ख़राब है पानी खड़ा रहता है। इसका भवन भी धीरे—धीरे टूट रहा है। किसी कोच की यहां पर व्यवस्था नहीं की गई। हम कई बार विधायक जी को इस बारे में अवगत करवा चुके हैं। वे केवल आश्वासन ही दे रहे हैं, करते कुछ नहीं हैं।
खिलाडियों का कहना है कि हमें काफी दिक्कत आती है। न खेल का अभ्यास ठीक से कर पाते हैं और न ही यहां कोई कोच है। यह मैदान शहर से भी काफी दूर है। मैदान के चारों ओर कंटीली झाड़ियाँ व घास उग चुकी हैं। हमारी मांग है की कोच की व्यवस्था की जाए और इस मैदान को दुबारा ठीक करवाया जाए।