Edited By Punjab Kesari, Updated: 18 Mar, 2018 11:02 AM
हरियाणा शहरी स्थानीय निकाय विभाग द्वारा प्रधानमंत्री आवास योजना के लाभार्थियों को इंटरनैट आधारित भू-अंकण (जियो टैगिंग) से जोड़ा जाएगा। इस संबंध में विभाग द्वारा एक दिवसीय इंटरनैट आधारित भू-अंकण (जियो टैगिंग) प्रक्रिया प्रशिक्षण कार्यक्रम का आयोजन...
चंडीगढ़(ब्यूरो): हरियाणा शहरी स्थानीय निकाय विभाग द्वारा प्रधानमंत्री आवास योजना के लाभार्थियों को इंटरनैट आधारित भू-अंकण (जियो टैगिंग) से जोड़ा जाएगा। इस संबंध में विभाग द्वारा एक दिवसीय इंटरनैट आधारित भू-अंकण (जियो टैगिंग) प्रक्रिया प्रशिक्षण कार्यक्रम का आयोजन किया गया, जिसमें परियोजना में कार्यरत पर्यवेक्षकों को प्रशिक्षण प्रदान किया गया। शहरी स्थानीय निकाय विभाग के एक प्रवक्ता ने यह जानकारी दी। उन्होंने बताया कि लाभार्थियों को प्रधानमंत्री आवास योजना का लाभ लेने के लिए निर्माण के दौरान निर्माण कार्यों के 5 चरणों की जानकारी देनी होगी और प्रत्येक चरण की जानकारी को पर्यवेक्षक की मदद से भुवन वैबपोर्टल पर अपलोड करना अनिवार्य होगा।
इन 5 चरणों में ग्राऊंड लैवल: जमीनी स्तर (भूमि अथवा नींव), पलिंथ चरण (नीचे की चौकी), लिंटेल लेंटरलैवल: चौखट/सरदल का चरण, छत का चरण व निर्माण कार्य सम्पन्न होने का चरण शामिल हैं।उन्होंने कहा कि लाभार्थियों को उपरोक्त सुझाए गए चरणों के अनुसार धनराशि का भुगतान किया जाएगा। प्रथम चरण का कार्य पूरा होने पर पर्यवक्षेक द्वारा निर्माणधीन भवन की इंटरनेट अधारित भू-अंकण (जियो टैगिंग) पद्धति के साथ फोटो खींचनी होगी व उसे भुवन वैबपोर्टल पर अपलोड करना अनिवार्य होगा। प्रवक्ता ने कहा कि नगरपालिका, राज्य/भारत सरकार पोर्टल पर उपलब्ध जानकारी द्वारा कभी भी प्रत्येक स्तर पर भवन के कार्य की प्रगति की समीक्षा कर सकती है।